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Lok Sabha Election 2024: पीडीपी ने जारी किया अपना घोषणापत्र, महबूबा ने अनुच्छेद-370 सहित उठाए ये मुद्दें

Lok Sabha Election 2024 जम्‍मू कश्‍मीर में पीडीपी ने अपना घोषणापत्र जारी किया है। घोषणापत्र में महबूबा (Mehbooba Mufti) 370 हटाने के खिलाफ अपनी आवाज बुलंद करने का वादा तो करती हैं पर कहीं भी उसे वापस लाने का वादा नहीं करतीं। इस घोषणापत्र को महबूबा मुफ्ती और पीडीपी के 370 पर नरम पड़ते रुख का सुबूत माना जा रहा है।

By Himani Sharma Edited By: Himani Sharma Published: Fri, 19 Apr 2024 11:45 PM (IST)Updated: Fri, 19 Apr 2024 11:45 PM (IST)
जम्‍मू कश्‍मीर में पीडीपी ने जारी किया अपना घोषणापत्र

राज्य ब्यूरो, श्रीनगर। अनुच्छेद-370 के निरस्तीकरण के विरोध को केंद्र में रखते हुए पीडीपी ने शुक्रवार को लोकसभा चुनाव के लिए अपना घोषणापत्र जारी कर दिया। घोषणापत्र में महबूबा 370 हटाने के खिलाफ अपनी आवाज बुलंद करने का वादा तो करती हैं पर कहीं भी उसे वापस लाने का वादा नहीं करतीं।

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घोषणापत्र में पाकिस्‍तान के नाम का उल्‍लेख नहीं

इस घोषणापत्र को महबूबा मुफ्ती और पीडीपी के 370 पर नरम पड़ते रुख का सुबूत माना जा रहा है। यहां बता दें कि यह वही महबूबा हैं, जिन्होंने चेताया था कि अगर अनुच्छेद-370 को छेड़ा गया तो कश्मीर में कोई तिरंगा थामने वाला नहीं मिलेगा। इस घोषणापत्र में कश्मीर मसले के समाधान के लिए सभी संबंधित पक्षों के साथ बातचीत और सुलह का भी राग अलापा गया है। हालांकि इसमें कहीं पाकिस्तान के नाम का उल्लेख नहीं है।

महबूबा मुफ्ती ने लगाए आरोप

पूर्व में महबूबा खुले मंच से पाकिस्तान को बातचीत में शामिल करने की वकालत करती रही हैं। घोषणापत्र जारी करते हुए महबूबा मुफ्ती ने आरोप लगाया कि अनुच्छेद-370 के निरस्तीकरण ने कश्मीर मसले को और जटिल बनाया है। बीते पांच वर्ष से हमें सामूहिक रूप से कमजोर बनाया जा रहा है। यहां लोगों को अपनी आवाज नहीं उठाने दी जा रही, यहां लोगों को दबाकर दिखाया जा रहा है कि सबकुछ ठीक है। उन्होंने कहा कि हम संसद में जाकर जम्मू-कश्मीर के लोगों को आवाज उठाएंगे।

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जेलों में बंद कश्मीरी कैदियों की रिहाई का उठाया मुद्दा

घोषणापत्र में जेलों में बंद कश्मीरी कैदियों की रिहाई का भी मुद्दा उठाया है। लोगों की संवेदनाओं को कुरेदते हुए महबूबा ने कहा कि जम्मू-कश्मीर की जनता ने अनुच्छेद-370 के निरस्तीकरण को कबूल नहीं किया है। उन्होंने कहा-हमने अपने घोषणापत्र में विकास के मुद्दों को भी उठाया है, लेकिन हमारा मिशन संसद में जाकर लोगों के मुद्दों को उठाना है। उन्होंने आरोप लगाया कि 2019 के बाद यहां हमारे सभी संसाधन, खनिज, जमीनें और नौकरियां दूसरे राज्यों के लोगों को दी जा रही हैं।

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पीडीपी अध्यक्ष ने कहा कि यह चुनाव बिजली, पानी और सड़क जैसे विकास संबंधी मुद्दों के बारे में नहीं है। यह चुनाव 2019 के बाद हमारे संसाधनों पर शुरू हुए हमलों को खत्म करने के लिए है। घोषणापत्र में गुज्जर-बक्करवाल समुदाय का जिक्र करते इन्हें जमीन से बेदखल किए जाने का दावा करते हुए मुद्दा बनाया गया है।


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