पाकिस्तान फिर हुआ बेनकाब, मुहाजिर और अन्य छोटे तबकों पर कर रहा भीषण अत्याचार
मुत्ताहिदा कौमी मूवमेंट की सेंट्रल कोऑर्डिनेशन कमेटी ने जम्मू-कश्मीर पर पाकिस्तान के दावे की कलई खोली है।
लंदन, एएनआइ। पाकिस्तान (Pakistan) लगातार जम्मू-कश्मीर (Jammu and Kashmir) में मानव उत्पीड़न का झूठ फैलाता आया है, लेकिन इसके उलट वो खुद कराची और सिंध प्रांत के कई शहरों में लोगों पर अत्याचार कर रहा है। यह बात मुत्ताहिदा कौमी मूवमेंट (Muttahida Qaumi Movement) की सेंट्रल कोऑर्डिनेशन कमेटी ने कही है। एक समय कराची में बड़े राजनीतिक प्रभाव वाले एमक्यूएम पर पाकिस्तान सरकार का ऐसा नजला गिरा कि संगठन के बड़े नेता भी देश छोड़कर ब्रिटेन और अन्य देशों में रह रहे हैं।
कमेटी ने कहा, पाकिस्तान में निर्दोष मुहाजिर, बलोच, पश्तून, सिंधी और अन्य छोटे तबकों का जिस तरह का जिस तरह से उत्पीड़न हो रहा है वह बाकी दुनिया के लिए अकल्पनीय है। पाकिस्तान में इन तबकों के लोगों को जो झेलना पड़ रहा है, वह उत्पीड़न की पराकाष्ठा है। कराची और अन्य शहरों में यह सब पाकिस्तानी सेना और अर्धसैनिक बलों द्वारा किया जा रहा है।
पाकिस्तानी सेना ने हजारों मुहाजिरों का नरसंहार किया
ये विचार कोऑर्डिनेशन के उप संयोजक कासिम अली राजा और उसमें शामिल मुस्तफा अजीजबादी, मंजूर अहमद और अरशद हुसैन ने व्यक्त किए हैं। राजा ने कहा, पाकिस्तान की दुष्ट सेना ने हजारों भोले-भाले मुहाजिरों का नरसंहार किया है। तमाम लोगों को उनके घर से अगवा कर लिया गया और पता नहीं कि अब वे कहां हैं। पाकिस्तान की कोई भी सरकारी संस्था मुहाजिरों और अन्य तबकों के साथ हो रहे अत्याचारों के बारे में सुनने को तैयार नहीं है। एमक्यूएम दुनिया के सभी लोकतांत्रिक देशों से पाकिस्तान में मुहाजिरों पर हो रहे अत्याचार, नरसंहार और नाइंसाफी से मुक्ति दिलाने में मदद की गुहार लगाती है। कमेटी ने कहा, अत्याचार से मुक्ति का एक रास्ता यह भी है कि सभी पीडि़त तबके एकजुट होकर पाकिस्तान से अलग होने के लिए संघर्ष छेड़ दें।
बलूचिस्तान में सतर्कता
बलोच संगठनों की हिंसा की धमकी के बाद बलूचिस्तान प्रांत के रेलवे स्टेशनों और वहां से गुजरने वाली ट्रेनों में खासतौर पर सतर्कता बरती जा रही है। क्वेटा स्टेशन की सुरक्षा में बड़ी संख्या में सुरक्षा बल तैनात कर दिए गए हैं और यात्रियों पर नजर रखी जा रही है।