ब्रिटेन ने शारीरिक संबंधों पर लगाया प्रतिबंध, लॉकडाउन के नए नियमों का उड़ रहा मजाक
शारीरिक संबंधों के लिए किसी अन्य घर में दो से अधिक लोगों को रात गुजारने पर रोक लगाई गई है। इस नए प्रतिबंधों का सोशल मीडिया पर भी काफी मजाक उड़ाया जा रहा है।
लंदन, एजेंसी। कोरोना वायरस के दौरान ब्रिटेन सरकार ने कई प्रतिबंधों को ऐलान कर रखा है। उसको तोड़ने पर सजा भी मुकर्रर की गई है। लेकिन इन दिनों ब्रिटेन सरकार का एक नया प्रतिबंध देश में मजाक बनकर रह गया है। दरअसल, ब्रिटिश सरकार ने किसी अन्य के घर पर दो या उससे अधिक लोगों को एक साथ निजी तौर पर रात गुजारने पर प्रतिबंध लगा दिया है। यानी शारीरिक संबंधों के लिए किसी अन्य घर में दो से अधिक लोगों को रात गुजारने पर रोक लगाई गई है। इस नए प्रतिबंधों का सोशल मीडिया पर भी काफी मजाक उड़ाया जा रहा है। इन नए प्रतिबंध को लेकर विपक्ष ने भी सरकार को आड़े हाथों लिया है।
125 अमेरिकी डॉलर तक का जुर्माना
नए प्रतिबंधों के अनुसार, जो लोग दूसरे घर में रात बिता रहे हैं, उन पर मुकदमा चलाया जा सकता है। नियमों को तोड़ने पर उन पर 125 अमेरिकी डॉलर यानी करीब 10 हजार रुपये तक का जुर्माना लगाया जा सकता है। घरों में इन जोड़ो को एक साथ रहने की अनुमति नहीं दी गई है। हालांकि, इन जोड़ों को बाहर समय बिताने की इजाजत दी गई है। बता दें कि ब्रिटेन में बाहर भी अवैध संबंधों को अनुमित प्रदान की गई है, लेकिन कोरोना महामारी के प्रसार को रोकने के लिए नया नियम बनाया गया है।
ब्रिटेन में ट्रेंड कर रहा था हैशटैग #SexBan
मंगलवार की सुबह, हैशटैग #SexBan ब्रिटेन में ट्रेंड कर रहा था, क्योंकि लोगों ने वायरस के संचरण को रोकने के लिए लोगों को अलग रखने के अपने प्रयास के लिए सरकार का मज़ाक उड़ाया था। एक जूनियर हाउसिंग मिनिस्टर साइमन क्लार्क ने एलबीसी रेडियो को बताया कि नए उपाय यह सुनिश्चित करने के लिए तैयार किए गए हैं कि हमारे पास रात में घर से दूर रहने वाले लोग नहीं हैं।
कंजर्वेटिव पार्टी के कानूनविद ने इसे हास्यास्पद बताया
कंजर्वेटिव पार्टी के कानूनविद टोबियास एलवुड ने 'गुड मॉर्निंग ब्रिटेन' कार्यक्रम में एंकर पीयर्स मॉर्गन द्वारा लॉकडाउन शारीरिक प्रतिबंधों पर चर्चा करते हुए बोले कि मुझे यह कहते हुए बहुत खुशी हो रही है कि यह हास्यास्पद है। आगे कोई चर्चा किए बिना उन्होंने कहा कि वह एक ऐसी कहानी के बारे में बात करने में समय नहीं बिताना चाहते थे, जिस पर उन्हें पढ़ने का मौका न मिला हो।