Move to Jagran APP

65,000 टन वजनी इस युद्धपोत को खरीदने की कोशिश में भारत, ब्रिटेन से चल रही बात

भारत अपनी नौसेना के लिए एक 65000 टन वजनी अत्याधुनिक विमान वाहक पोत खरीदने के लिए ब्रिटेन से बातचीत कर रहा है।

By Krishna Bihari SinghEdited By: Published: Sun, 05 May 2019 08:45 PM (IST)Updated: Sun, 05 May 2019 08:46 PM (IST)
65,000 टन वजनी इस युद्धपोत को खरीदने की कोशिश में भारत, ब्रिटेन से चल रही बात
65,000 टन वजनी इस युद्धपोत को खरीदने की कोशिश में भारत, ब्रिटेन से चल रही बात

लंदन, पीटीआई। भारत अपनी नौसेना के लिए एक अत्याधुनिक विमान वाहक पोत खरीदने के लिए ब्रिटेन से बातचीत कर रहा है। ब्रिटेन के एचएमएस क्वीन एलिजाबेथ की तर्ज पर बनने वाले इस युद्धपोत का निर्माण 'मेक इन इंडिया' के तहत भारत में ही होगा। लंदन के अखबार 'लंदन मिरर' ने यह खबर दी है। इस युद्धपोत के आने के बाद भारतीय विमान वाहक पोत का बेड़ा ब्रिटेन से भी बड़ा हो जाएगा।

loksabha election banner

रिपोर्ट के मुताबिक भारतीय नौसेना के लिए 65,000 टन के ब्रिटिश युद्धपोत की विस्तृत डिजाइन की खरीद के लिए बातचीत चल रही है। एचएमएस क्वीन एलिजाबेथ की तरह बनने वाले इस युद्धपोत को वर्ष 2022 में भारतीय नौ सेना में शामिल किया जाएगा और इसका नाम 'आइएनएस विशाल' होगा।

अखबार के मुताबिक इसके लिए भारत का एक प्रतिनिधिमंडल स्कॉटलैंड स्थित रोसिथ डॉकयार्ड भी गया था। यहीं पर एचएमएस क्वीन एलिजाबेथ को असेंबल किया गया था और दूसरे युद्धपोत एचएमएस प्रिंस ऑफ वेल्स का निर्माण चल रहा है। खबर में दावा किया गया है कि अगर यह सौदा होता है तो नए युद्धपोत का निर्माण तो भारत में होगा, लेकिन ब्रिटेन की कंपनियां इसके कई पार्ट्स की आपूर्ति कर सकती हैं।

अखबार ने यह भी कहा है कि नया युद्धपोत भारत के 45,000 टन के युद्धपोत आइएनएस विक्रमादित्य और नौसेना में शामिल होने वाले 40,000 टन के आइएनएस विक्रांत के साथ काम करेगा। भारत ने आइएनएस विक्रमादित्य को 2004 में रूस से खरीदा था।

ब्रिटिश रक्षा मंत्री स्टुअर्ट एंड्रयू ने इस खबर पर टिप्पणी करने से इन्कार कर दिया। लेकिन उन्होंने कहा, 'भारत के साथ उपकरण और क्षमता के मुद्दों पर नियमित बातचीत होती है। अभी इस पर किसी तरह का बयान देना सही नहीं होगा।'इससे पहले 1987 में भारत ने ब्रिटेन से फॉकलैंड्स युद्धपोत एचएमएस हर्मीस खरीदा था, जिसे आइएनएस विराट नाम दिया गया था। हालांकि, दो साल पहले यह युद्धपोत नौसेना से अलग हो गया है। 

लोकसभा चुनाव और क्रिकेट से संबंधित अपडेट पाने के लिए डाउनलोड करें जागरण एप


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.