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फ्रांस के ग्लेशियर से 1966 के भारतीय अखबारों की प्रतियां मिली, जानिए किन-किन बातों का है जिक्र

फ्रांस के मोंट ब्लैंक पर्वत पर 54 साल पहले एयर इंडिया का एक विमान दुर्घटनाग्रस्त हो गया था और ये अखबार उसी के अवशेष हैं।

By Arun Kumar SinghEdited By: Published: Mon, 13 Jul 2020 11:48 PM (IST)Updated: Tue, 14 Jul 2020 12:40 AM (IST)
फ्रांस के ग्लेशियर से 1966 के भारतीय अखबारों की प्रतियां मिली, जानिए किन-किन बातों का है जिक्र
फ्रांस के ग्लेशियर से 1966 के भारतीय अखबारों की प्रतियां मिली, जानिए किन-किन बातों का है जिक्र

लंदन, प्रेट्र। फ्रांस के मोंट ब्लैंक पर्वत के पिघलते बासोंस ग्लेशियर से दर्जनभर से अधिक भारतीय अखबारों की प्रतियां मिली हैं। ये अखबारa 1966 के हैं, क्योंकि इसमें इंदिरा गांधी को आम चुनाव में मिली जीत का जिक्र है। एक अखबार का शीर्षक है, 'भारत की पहली महिला प्रधानमंत्री।' दरअसल, इस पर्वत पर 54 साल पहले एयर इंडिया का एक विमान दुर्घटनाग्रस्त हो गया था और ये अखबार उसी के अवशेष हैं। 

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'नेशनल हेराल्ड' और 'इकोनोमिक्स टाइम्स' समेत कई अखबारों की प्रतियां शामिल

मोंट ब्लैंक पर्वतमाला पर तकरीबन 1,350 मीटर की ऊंचाई पर बासोंस ग्लेशियर के पास कैफे और रेस्तरां चलाने वाले 33 साल के टिमोथी मोटिन को ये अखबार मिले हैं। इनमें 'नेशनल हेराल्ड' और 'इकोनोमिक टाइम्स' समेत दर्जनों अखबारों की प्रतियां शामिल हैं। मोटिन के कैफे से 45 मिनट में ग्लेशियर तक पहुंचा जा सकता है। ब्रिटेन के अखबार द गार्जियन और अन्य एजेंसियों की खबरों के मुताबिक मोटिन ने फ्रांस के दैनिक अखबार 'ली डौपीन लिबेरे' को बताया कि अखबार को अभी सुखा रहे हैं, लेकिन वो अच्छे हालत में है। उन्हें पढ़ा जा सकता है। उन्होंने कहा कि वो इन अखबारों को अपने रेस्तरां में रखेंगे। हादसे का शिकार हुए विमान के और कई अवशेष भी वो अपने रेस्तरां में रखे हैं। 

24 जनवरी, 1966 को एयर इंडिया का बोइंग 707 विमान हुआ था हादसे का शिकार 

मोटिन ने कहा, 'यह अस्वाभाविक नहीं है। हम जब भी अपने मित्रों के साथ ग्लेशियर पर जाते हैं, विमान हादसे के अवशेष मिलते हैं। अनुभव के आधार पर आप जानते हैं कि अवशेष कहां हैं।' यूरोप की इस सबसे ऊंची पर्वतमाला पर 24 जनवरी, 1966 को एयर इंडिया का बोइंग 707 विमान संचार माध्यमों में गड़बड़ी के चलते हादसे का शिकार हुआ था। इसमें 177 लोगों की मौत हुई थी। इस विमान को भारत की सबसे ऊंची पर्वतमाला कंचनजंघा नाम दिया गया था।

पहले भी मिल चुके हैं अवशेष 

साल 2012 के बाद से एयर इंडिया के विमान से जुड़े कई अवशेष मिले हैं। इनमें भारतीय डिप्लोमैटिक मेल का एक बैग भी शामिल है। उसके एक साल बाद फ्रांस के एक अन्य पर्वतारोही को एयर इंडिया के लोगो वाला धातु का एक बक्शा मिला था, जिसमें कीमती पन्ना, नीलम और माणिक मिले थे। साल 2017 में मानव अवशेष भी मिले थे। माना जाता है कि ये अवशेष या तो 1966 या फिर 1950 में क्रैश हुए एयर इंडिया के विमान के होंगे। 1950 में एयर इंडिया का मालाबार प्रिसेंस नामक विमान हादसे का शिकार हुआ था। 


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