रंग लाई भारत की कूटनीतिक पहल: पाक वित्त सचिव बोले- हमारी सरकार को लेने होंगे कठोर फैसले
आरिफ अहमद खान ने बुधवार को कहा कि यदि वित्तीय कार्रवाई कार्य बल (एफएटीएफ) के सख्त आर्थिक प्रतिबंधों से बचना है तो पाक को जल्द ही कुछ सख्त कदम उठाने होंगे।
इस्लामाबाद [ एजेंसी ]। पाकिस्तानी वित्त सचिव आरिफ अहमद खान ने बुधवार को कहा कि यदि वित्तीय कार्रवाई कार्य बल (एफएटीएफ) के सख्त आर्थिक प्रतिबंधों से बचना है तो पाक को जल्द ही कुछ सख्त कदम उठाने होंगे। वित्त सचिव का बयान ऐसे समय आया है, जब हाल में एफएटीएफ ने अपनी पेरिस बैठक में पाकिस्तान को ग्रे लिस्ट बाहर नहीं किया। हालांकि, परिस में हुई एफटीएएफ की बैठक में भारत ने पाकिस्तान को ब्लैक लिस्ट में डालने की पुरजोर वकालत की थी। आरिफ अहमद लोक लेखा समिति (पीएसी) की एक उप-समिति की बैठक में भाग लेने के बाद संवाददाताओं से बात कर रहे थे। वित्त सचिव ने कहा कि पाकिस्तान को एफएटीएफ की सिफारिशों को लागू करने के लिए कड़े कदम उठाने होंगे।
कश्मीर के पुलवामा आतंकी हमले में 40 सुरक्षा बल के जवानों की मौत हो गई थी। इसके बाद से भारत ने पाकिस्तान पर दबाव बनाने के लिए कूटनीतिक पहल तेज कर दी है। भारत की कूटनीतिक पहल का नतीजा रहा है कि एफएटीएफ पाकिस्तान को ग्रे लिस्ट से बाहर नहीं कर सका। पाकिस्तान को आतंकवाद-रोधी वित्तपोषण पर अंकुश लगाने के लिए इस सूची में रखा गया है।
भारत की इस कूटनीतिक पहल का नतीजा रहा है पाकिस्तान पर जबरदस्त दबाव है। इसके बाद पाकिस्तान ने अपने देश में दो आतंकी संगठनों पर प्रतिबंध लगाया। लेकिन बुधवार को पाकिस्तान वित्त सचिव ने कहा कि इस दिशा में हमें मई तक काफी काम करना होगा। उन्होंने चेतावनी दी कि अगर हम इस कार्य में निष्फल हुए तो पाकिस्तान को आर्थिक प्रतिबंधों से कोई नहीं बचा सकता है।
दरअसल, वित्तीय कार्रवाई कार्यदल (FATF) एक अंतरसरकारी संस्था है, जो काले धन को वैध धन यानी मनी लांडरिंग को रोकने से संबंधित नीतियों को तैयार करती है। वर्ष 2001 में इसके कार्यक्षेत्र का विस्तार किया गया। एफएटीएफ अब आंतकवाद को धन मुहैया कराने के विरुद्ध नीतियों का निर्धारण करती है। इसका सचिवालय फ्रांस की राजधानी पेरिस स्थित आर्थिक सहयोग और विकास संगठन के मुख्यालय में है।