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अमेरिका के बाद अब UAE व सऊदी अरब में जनरल बाजवा, मांग रहे खैरात; देश की इकोनामी को पटरी पर लाने की कोशिश

अमेरिका से मदद की मांग करने के बाद अब बाजवा पाकिस्तान की धराशाई होती अर्थव्यवस्था को बचाने के लिए मित्र देशों के सामने गिड़गिड़ा रहे हैं। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार बाजवा ने दोनों देशों के अधिकारियों से अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष से मिलने वाली आर्थिक मदद को लेकर चर्चा की है।

By Monika MinalEdited By: Published: Sat, 06 Aug 2022 01:05 PM (IST)Updated: Sat, 06 Aug 2022 01:05 PM (IST)
अमेरिका के बाद अब UAE व सऊदी अरब में जनरल बाजवा, मांग रहे खैरात; देश की इकोनामी को पटरी पर लाने की कोशिश
अमेरिका के बाद अब UAE व सऊदी अरब में जनरल बाजवा

इस्लामाबाद, एजेंसी। पाकिस्‍तान के घटते विदेशी भंडार के बीच पाकिस्‍तान के आर्मी चीफ जनरल कमर जावेद बाजवा UAE और सऊदी अरब गए हैं। इन दोनों देशों के दौरे के पीछे का मकसद वित्तीय सहायता लेना है। अमेरिका से मदद की मांग करने के बाद अब बाजवा पाकिस्तान की लगातार धराशाई होती अर्थव्यवस्था को बचाने के लिए मित्र देशों के सामने गिड़गिड़ा रहे हैं। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार शनिवार को बाजवा ने दोनों देशों के अधिकारियों से अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष से मिलने वाली आर्थिक मदद को लेकर भी चर्चा की है। बाजवा ने चंद दिनों पहले ही अमेरिका की यात्रा कर पाकिस्तान के लिए कर्ज की अपील की थी।

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IMF से बेलआउट प्रक्रिया में तेजी लाने का आग्रह

अमेरिका में पाकिस्तान को डिफाल्टर होने से बचाने के लिए IMF कार्यक्रम के तहत 1.2 बिलियन डालर के शुरुआती मदद जल्द से जल्द जारी करवाने की अपील की थी। इस क्रम में उन्होंने अमेरिकी उप विदेश मंत्री वेंडी शेरमेन से फोन पर बात की और अमेरिकी सेना के शीर्ष अधिकारियों से भी मुलाकात की। जनरल बाजवा ने व्हाइट हाउस और ट्रेजरी विभाग से अनुरोध किया कि वे IMF से बेलआउट प्रक्रिया में तेजी लाने का आग्रह करें। हालांकि, IMF ने कहा कि वह शर्तों के पूरा होने पर ही पाकिस्तान के लिए कर्ज जारी करेगा।

पाकिस्तानी रुपये में रिकार्ड गिरावट

पाकिस्तानी रुपया कमजोर होकर रिकार्ड निचले स्तर पर पहुंच चुका है। वर्तमान में एक डालर की कीमत 223 रुपया है। पाकिस्तान का विदेशी मुद्रा भंडार भी 9.3 अरब डालर तक गिर गया है। इतने पैसे में पांच हफ्ते तक भी पाकिस्तान की जरूरत की चीजों का आयात नहीं किया जा सकता है। यही कारण है कि शहबाज शरीफ सरकार अपने खर्चों में तेजी से कटौती कर रही है।


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