एक टीवी चैनल के डिबेट में अब इमरान खुद बोलें- उनको पैसा मांगने का 30 साल का तर्जूबा
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने एक टीवी चैनल के डिबेट में कहा कि उनको पैसा मांगने का 30 साल का तर्जुबा है।
इस्लामाबाद। पाकिस्तान में कोरोना वायरस से संक्रमण के हालात दिनोंदिन खराब होते जा रहे हैं। यहां पर अब तक 6200 केस सामने आ चुके हैं, कोरोना वायरस के संक्रमण से अब तक यहां पर 113 लोगों की मौत हो चुकी है। यहां पर जब कोरोना संक्रमण की शुरूआत हुई तो प्रधानमंत्री इमरान खान ने खुद ही लॉकडाउन किए जाने से इंकार कर दिया था, इसके पीछे उन्होंने आर्थिक परिस्थितियों का हवाला दिया था। कहा था कि यदि लॉकडाउन किया तो देश के हालात और भी खराब हो जाएंगे। इसको ध्यान में रखते हुए लॉकडाउन नहीं किया जा सकता है, सरकार इसके लिए तैयार नहीं है।
कुछ दिन पहले इमरान खान ने कोरोना वायरस के संकट से निपटने के लिए बाकायदा एक वीडियो संदेश जारी करके लोगों से प्रधानमंत्री रिलीफ फंड में पैसा जमा करने की अपील की थी, उन्होंने पाकिस्तान के बाहर रह रहे पाकिस्तानियों से ऐसे मौके पर मदद करने का आवाहन किया था जिससे देश की खराब हो रही आर्थिक स्थिति से निपटा जा सके। फंड में पैसा जमा करने के लिए उन्होंने नागरिकों के सामने दूसरे देशों का उदाहरण भी सामने रखा था। जिससे लोग कम से कम देखा देखी ही इस फंड में कुछ पैसे जमा करें और सरकार को राहत मिल सके।
Selector: What is it that you have, and others don't?
Selected: pic.twitter.com/NJ21DaxjXW— Naila Inayat नायला इनायत (@nailainayat) April 14, 2020
फंड की समस्या को लेकर ही इन दिनों पाकिस्तान के कई टीवी चैनलों में डिबेट भी चल रही है। पाकिस्तान में इसी तरह के एक टीवी कार्यक्रम में खुद इमरान खान भी मौजूद थे और डिबेट में कई अन्य लोग भी शामिल थे। इसी कार्यक्रम में इमरान खान ने कहा कि काफी देर से पैनल में बैठे लोगों की बातें सुन रहे हैं। उन्होंने कहा कि पैनल में जो लोग बैठे हैं उनको पैसे जमा करने की समझ है। साथ ही उन्होंने कहा कि पाकिस्तान में वो बीते 30 साल से पैसे इक्ट्ठे करते आ रहे हैं, उनको 30 साल से पैसे इक्ट्ठे करने का अनुभव है।
उनके इस बयान की पाकिस्तान की तमाम सोशल मीडिया में जमकर खिल्ली उड़ाई गई। लोगों ने कमेंट किए कि एक देश के प्रधानमंत्री को कुछ भी बोलने से पहले कम से कम कुछ विचार कर लेना चाहिए, यदि ऐसी बातें कहनी भी है तो उनको सार्वजनिक मंच पर ऐसा नहीं कहना चाहिए।