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हांगकांग में पुलिस की रोकटोक से भड़के प्रदर्शनकारी, आंदोलन के दौरान चाकूबाजी, कई घायल

हांगकांग में रविवार को लोकतंत्र की मांग वाले आंदोलन में भारी तोड़फोड़ हुई और खूनखराबा हुआ। एक मॉल में बने रेस्टोरेंट में आंदोलनकारियों ने तोड़फोड़ की।

By Krishna Bihari SinghEdited By: Published: Mon, 04 Nov 2019 08:47 AM (IST)Updated: Mon, 04 Nov 2019 10:23 AM (IST)
हांगकांग में पुलिस की रोकटोक से भड़के प्रदर्शनकारी, आंदोलन के दौरान चाकूबाजी, कई घायल
हांगकांग में पुलिस की रोकटोक से भड़के प्रदर्शनकारी, आंदोलन के दौरान चाकूबाजी, कई घायल

हांगकांग, रायटर। हांगकांग में रविवार को लोकतंत्र की मांग वाले आंदोलन में भारी तोड़फोड़ हुई और खूनखराबा हुआ। एक मॉल में बने रेस्टोरेंट में आंदोलनकारियों ने तोड़फोड़ की। इसी दौरान आंदोलनकारियों की पिटाई से गुस्साए एक युवक ने चाकू से लोगों पर हमला कर दिया और कई लोगों को घायल कर दिया। घटना में एक स्थानीय राजनीतिक नेता के भी चोट आने की खबर है।

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रविवार शाम को महानगर के सिटी प्लाजा इलाके में मानव श्रृंखला बनाकर विरोध प्रदर्शित करते हुए हमेशा की तरह आंदोलन की शांत शुरुआत हुई। लेकिन कुछ ही देर बाद पुलिस की रोकटोक शुरू होते ही युवा आंदोलनकारी भड़क गए। इसके बाद सरकारी और चीनी लोगों के स्वामित्व वाली संपत्तियों की तोड़फोड़ शुरू हो गई। नारेबाजी करते युवा एक मॉल में घुस गए और वहां तोड़फोड़ की। इसी दौरान वहां बने रेस्टोरेंट में तोड़फोड़ से भय का वातावरण पैदा हो गया और लोग चीखने-चिल्लाने लगे। इसी दौरान चाकूबाजी की वारदात हुई जिसमें कई लोग घायल हो गए। 

बता दें कि शनिवार को भी हांगकांग में हिंसक प्रदर्शन हुए थे। प्रदर्शनों के दौरान सेंट्रल हांगकांग में स्थित एक मेट्रो स्टेशन तोड़फोड़ के बाद आग के हवाले कर दिया गया। यही नहीं चीन की सरकारी समाचार एजेंसी शिन्हुआ के हांगकांग स्थित कार्यालय में भी तोड़फोड़ की गई। इससे दफ्तरों और कारोबार से वापस लौट रहे लाखों लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ा और वे घंटों की देरी से अपने घर पहुंचे।

शिन्हुआ ने हांगकांग में अपने कार्यालय में लोकतंत्र समर्थकों के हमले को बर्बर कार्रवाई बताया था। वहीं हांगकांग पत्रकार संघ ने मीडिया पर हमले की घटनाओं को रोकने की मांग की है। हांगकांग में चीन के खिलाफ बढ़ते आक्रोश के बीच चीन की सरकारी समाचार एजेंसी पर हमले की यह पहली घटना थी। इन हमलों के ठीक एक दिन पहले सत्तारूढ़ कम्युनिस्ट पार्टी ने हांग कांग में हिंसा पर लगाम लगाने की बात कही थी। मामले में 200 से अधिक लोगों को हिरासत में लिया गया।


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