Move to Jagran APP

न्यूजीलैंड: समुद्र के रास्ते गायों के निर्यात पर प्रतिबंध, कृषि मंत्री ने कहा- दो साल का लगेगा समय

न्यूजीलैंड में समुद्र के रास्ते होने वाले गायों के आयात पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। हालांकि देश के कृषि मंत्री ने कहा कि इस फैसले को लाागू करने में अभी दो साल का समय लगेगा। न्यूजीलैंड ने एक साल पहले भी अस्थायी रूप से प्रतिबंध लगाया था

By Monika MinalEdited By: Published: Wed, 14 Apr 2021 03:09 PM (IST)Updated: Wed, 14 Apr 2021 03:09 PM (IST)
न्यूजीलैंड: समुद्र के रास्ते गायों के निर्यात पर प्रतिबंध, कृषि मंत्री ने कहा- दो साल का लगेगा समय
न्यूजीलैंड: समुद्र के रास्ते में गायों के निर्यात पर प्रतिबंध (प्रतीकात्मक तस्वीर)

वेलिंगटन, एपी।  न्यूजीलैंड ने बुधवार को घोषणा की है कि वह अब जिंदा गाय व अन्य जानवरों का निर्यात समुद्र के रास्ते नहीं करेगा। यह निर्णय मानवीय दृष्टिकोण से लिया गया है। कृषि मंत्री डेमियन ओ कोनोर (Agriculture Minister Damien O’Connor) ने कहा है कि प्रतिबंध को लागू करने के लिए दो साल का समय लगेगा।

loksabha election banner

समुद्री रास्ते से गायों के निर्यात के इस बिजनेस में जो लोग हैं या इसमें निवेश किया है, उन्हें इन दो साल में व्यापार से निकलने का मौका दिया गया है। न्यूजीलैंड ने एक साल पहले अस्थायी रूप से प्रतिबंध लगाया था, जब 5800 जानवरों को लेकर जा रहा पोत चीन के निकट खराब मौसम के कारण डूब गया था, इसमें नाविक दल के 40 सदस्यों सहित सभी जानवर मर गए थे।

कृषि मंत्री ने बताया कि अधिकारियों ने इस बारे में चीन को सूचित कर दिया है लेकिन अब तक उनकी ओर े किसी तरह का जवाब नहीं मिला है। उन्होंने बताया कि चीन के बचाव के लिए वो चिंतित नहीं हैं जो न्यूजीलैंड का का सबसे बड़ा ट्रेडिंग पार्टनर है और जिंदा पशुओं का बड़ा खरीददार। उन्होंने कहा, 'यह प्रतिबंध का फैसला चीन के लिए नहीं बल्कि पशुओं के हित में लिया गया है। हमारा चीन के साथ परिपक्व संबंध है, हम इसके लिए निश्ख्चिंत हैं कि वे हमारे हालात को समझेंगे।' 

ओ कोनोर ने कहा कि कोई भी वित्तीय लाभ देश की प्रतिष्ठा से ऊपर नहीं है। चूंकि इस मामले में सुरक्षा के लिए कोई विकल्प नहीं था, इसलिये जानवरों के कल्याण के लिए इस तरह का फैसला लेना पड़ा है। उन्होंने कहा कि बेशक हम खाने के उत्पादन को कम नहीं करना चाहते हैं, लेकिन ऐसे उत्पादन में कहीं नैतिकता भी होनी चाहिए। जानवरों के कल्याण के लिए लगी संस्थाएं लंबे समय से इसकी मांग कर रही थीं। सरकार अब इन जानवरों को हवाई जहाज से भेजने पर विचार कर रही है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.