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यूएन का दावा, ईरान के अघोषित स्थल पर यूरेनियम कण मिले

अंतरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (आइएईए) ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि ईरान में उक्त स्थल पर मानवजनित उत्पत्ति के प्राकृतिक यूरेनियम कणों का पता चला था।

By Sanjeev TiwariEdited By: Published: Tue, 12 Nov 2019 08:56 AM (IST)Updated: Tue, 12 Nov 2019 09:46 AM (IST)
यूएन का दावा, ईरान के अघोषित स्थल पर यूरेनियम कण मिले
यूएन का दावा, ईरान के अघोषित स्थल पर यूरेनियम कण मिले

वियना, एएफपी। परमाणु हथियारों पर नजर रखने वाली संयुक्त राष्ट्र की संस्था ने कहा है कि ईरान के अघोषित स्थल पर उसे यूरेनियम के कण मिले थे। ईरान के परमाणु कार्यक्रम पर सोमवार को जारी अपनी रिपोर्ट में संस्था ने यह जानकारी दी है।

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अंतरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (आइएईए) ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि ईरान में उक्त स्थल पर मानवजनित उत्पत्ति के प्राकृतिक यूरेनियम कणों का पता चला था। इस स्थल के बारे में एजेंसी को जानकारी नहीं दी गई थी। संस्था ने उस स्थल के बारे में जानकारी नहीं दी है, लेकिन राजनयिक सूत्रों ने पहले कहा था कि एजेंसी ईरान के उस स्थल को लेकर सवाल उठा रही है, जहां कभी इजरायल गुप्त तरीके से परमाणु कार्यक्रम चलाता था।

सूत्रों ने बताया कि ईरान के तुर्कुजाबाद जिले में स्थित उक्त स्थल से इस साल शुरुआत में नमूना एकत्र किए थे। रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि ईरान तेजी से यूरेनियम संवर्धित कर रहा है। उसके संवर्धित यूरेनियम की मात्रा 551 किलोग्राम तक पहुंच गई है, जबकि 2015 के समझौते के मुताबिक वह 300 किलोग्राम से ज्यादा संवर्धित यूरेनियम का भंडारण नहीं कर सकता है।

भूमिगत प्रयोगशाला ज्यादा यूरेनियम उत्पादन में मददगार

ईरान के परमाणु कार्यक्रम के प्रमुख अली अकबर सालेही ने सोमवार को कहा कि एक भूमिगत प्रयोगशाला के दोबारा शुरू हो जाने से देश में अब कम संवर्धित यूरेनियम का ज्यादा उत्पादन हो रहा है। उन्होंने कहा कि पहले के 450 ग्राम प्रतिदिन के मुकाबले इस समय रोजाना पांच किलोग्राम कम संवर्धित यूरेनियम का उत्पादन हो रहा है।

ईरान के परमाणु ऊर्जा संगठन के प्रमुख सालेही ने यह बयान ऐसे समय दिया है, जब राष्ट्रपति हसन रूहानी ने भी कट्टरपंथियों का देश के मुश्किल से गुजर रहे परमाणु समझौते का समर्थन करने का आह्वान किया है।

रूहानी ने कहा कि अगर हम समझौते को बचाने में सफल रहते हैं तो ईरान पर हथियारों की खरीद-बिक्री को लेकर लगी पाबंदी अगले साल से खत्म हो जाएगी। उसके बाद ईरान दूसरे देशों से हथियार खरीद सकता है और अपने हथियार दूसरे देशों को बेच सकता है। यह बंदिश संयुक्त राष्ट्र ने लगाई है।


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