Move to Jagran APP

अफगानिस्तान में मीडिया पर टूटा तालिबानी कहर, भीषण हिंसा के कारण बंद हुए 51 न्यूज आउटलेट, सैकड़ों ने गवाई नौकरी

अफगानिस्तान में तालिबान के आतंक का आलम यह है कि यहां पिछले तीन महीनों के दौरान भारी हिंसा के कारण देश में कुल 51 मीडिया संस्थान बंद कर दिए गए हैं। चार टीवी नेटवर्क समेंत 16 मीडिया आउटलेट हेलमंद में हैं और उन्होंने काम करना बंद कर दिया है।

By Amit KumarEdited By: Published: Wed, 04 Aug 2021 07:58 PM (IST)Updated: Wed, 04 Aug 2021 07:58 PM (IST)
अफगानिस्तान में मीडिया पर टूटा तालिबानी कहर, भीषण हिंसा के कारण बंद हुए 51 न्यूज आउटलेट, सैकड़ों ने गवाई नौकरी
51 media outlets in Afghanistan closed amid ongoing violence

काबुल,एजेंसियां: अफगानिस्तान में तालिबान के आतंक का आलम यह है कि, यहां पिछले तीन महीनों के दौरान भारी हिंसा के कारण देश में कुल 51 मीडिया संस्थान बंद कर दिए गए हैं। अफगान सूचना मंत्रालय ने मंगलवार को जानकारी देते हुए बताया कि, चार टीवी नेटवर्क समेंत 16 मीडिया आउटलेट हेलमंद में हैं और बीते कुछ हफ्तों में उन्होंने काम करना बंद कर दिया है।

loksabha election banner

मीडिया पर तालिबानी नियंत्रण

अफगानिस्तान के कार्यवाहक सूचना और संस्कृति मंत्री कासिम वफीजादा ने कहा, अब तक 35 मीडिया आउटलेट ने अपना संचालन बंद कर दिया है और 6 से अधिक मीडिया संस्थानों पर तालिबान ने नियंत्रण हासिल कर लिया है। अब आतंकि उनका इस्तेमाल अपनी आवाज उठाने के लिए कर रहे हैं। जानकारी के मुताबिक, जिन मीडिया आउटलेट ने अप्रैल में संचालन बंद कर दिया था उनमें पांच टीवी नेटवर्क और 44 रेडियो स्टेशन, एक मीडिया सेंटर और एक समाचार एजेंसी शामिल हैं। ये आउटलेट हेलमंद, कंधार, बदख्शां, तखर, बगलान, समांगन, बल्ख, सर-ए-पुल, जजजान, फरयाब, नूरिस्तान और बदघिस में चलाए जा रहे थे।

सैकड़ों ने गवाई नौकरियां

अफगानिस्तान में इतनी बड़ी तादाद में मीडिया संस्थान बंद होने के कारण अप्रैल के बाद से करीब 150 महिलाओं सहित एक हजार से अधिक पत्रकारों और मीडियाकर्मियों को अपनी नौकरी से हाथ धोना पड़ा है। वहीं, पिछले दो महीनों में भारतीय फोटो जर्नलिस्ट दानिश सिद्दीकी समेत दो अन्य पत्रकारों की हत्याओं के मामले भी सामने आए हैं। देश में जारी हिंसा के बीच, मीडिया का समर्थन करने वाले लोगों ने तालिबान के कारण मीडिया संस्थानों के पतन को लेकर चिंता जाहिर की है। स्थानीय मीडिया के मुताबिक, बदख्शां, बगलान, समांगन और फरयाब प्रांतों के पांच रेडियो स्टेशनों ने तालिबान के समर्थन में प्रसारण शुरू कर दिया है। क्योंकि उन इलाकों को अब तालिबान नियंत्रित कर रहा है।

सैन्य वापसी के कारण बढ़ी हिंसा

गौरतलब है कि, जब से अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन अफगानिस्तान से सैन्य वापसी को लेकर घोषणा की है। तब से तालिबान आक्रामक रुख अपनाए हुए है और लगातार हिंसा को बढ़ावा देते हुए हमले कर रहा है। अब एक महीने से भी कम वक्त में अमेरिकी सैनिक पूरी तरह से अफगान के उसके हाल पर छोड़ देंगे। जिसके चलते तालिबान और अफगान सुरक्षा बलों के बीच जंग गंभीर रूप लेती जा रही है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.