जापानी स्टूडियो आगजनी में सबसे ज्यादा शिकार हुई महिलाएं, संदिग्ध ने इस कारण लगाई थी आग
स्टूडियो के मालिक हिडकी हट्टा ने कहा कि सबसे ज्यादा युवा महिलाएं ही आगजनी की शिकार हुई हैं। इनमें से कुछ पिछले अप्रैल में कंपनी से जुड़ी थीं।
क्योटो, रायटर। क्योटो, रायटर। जापान के क्योटो शहर स्थित एक एनिमेशन स्टूडियो में गुरुवार को हुई आगजनी में जान गंवाने वालों में आधे से ज्यादा युवतियां हैं। प्राप्त जानकारी के अनुसार, इस घटना में मरने वालों की संख्या शनिवार को बढ़कर 34 हो गई, जिनमें 20 युवतियां हैं।
टेलीविजन धारावाहिक और फिल्मों के लिए चर्चित क्योटो एनिमेशन स्टूडियो में गुरुवार को एक शख्स ने आग लगा दी थी। स्टूडियो के मालिक हिडकी हट्टा ने कहा, 'सबसे ज्यादा युवतियां ही आगजनी की शिकार हुई। इनमें से कुछ गत अप्रैल में कंपनी से जुड़ी थीं। मैंने इन्हें आठ जुलाई को पहला बोनस दिया था। इनमें से कई काफी प्रतिभावान थीं, लेकिन हमने उनको खो दिया। मेरे पास कहने के लिए शब्द नहीं हैं। मुझे गुस्सा आ रहा है।'
इस बीच पुलिस ने स्टूडियो में आग लगाने वाले संदिग्ध की पहचान शिंजी आओबा के रूप में की है। उसके खिलाफ वारंट जारी किया गया है। फिलहाल उसे गिरफ्तार नहीं किया गया है, क्योंकि आग लगाने में वह खुद भी गंभीर रूप से झुलस गया है। ओसाका के नजदीक यूनिवर्सिटी हॉस्पिटल में उसका इलाज चल रहा है। पुलिस का कहना है कि ठीक होते ही उसे गिरफ्तार कर लिया जाएगा।
शिंजी क्योटो शहर से करीब 500 किमी दूर एक ग्रामीण इलाके का रहने वाला बताया जा रहा है। पड़ोसियों का कहना है कि वह अकेला रहता था और हमेशा वीडियोगेम खेलता रहता था। वह दिन में घर से बाहर भी नहीं निकलता था। पड़ोसियों ने उसे अक्सर रात के वक्त ही बाहर आते-जाते देखा था। कुछ दिन पहले एक पड़ोसी से उसका झगड़ा भी हुआ था।
पड़ोसी ने बताया, 'किसी और घर से आ रहे शोरगुल की गलतफहमी में उसने मुझे पकड़ लिया था और मुझ पर चिल्लाने लगा था। उसका व्यवहार बहुत डरावना था।' वह एक दुकान में लूट के मामले में 2012 में जेल भी जा चुका है।
उपन्यास की सामग्री चोरी के शक में लगाई थी आग
स्थानीय मीडिया के अनुसार, 41 वर्षीय शिंजी आओबा को शक था कि स्टूडियो ने उसके उपन्यास की सामग्री को चुरा लिया है। इसी बात से वह स्टूडियो से नाराज था। यही कारण है कि उसने आगजनी की इस बड़ी घटना को अंजाम दे दिया।