डिजाइनर बेबी विकसित करने वाला चीनी वैज्ञानिक बर्खास्त
जियानकुई के साथ किए गए सभी करार खत्म कर दिए गए हैं। उनके शोध भी निरस्त कर दिए गए हैं।
बीजिंग, रायटर। दुनिया के पहले जेनेटिकली मॉडिफाइड बच्चे के जन्म के लिए जिम्मेदार चीनी वैज्ञानिक ही जियानकुई को उनकी यूनिवर्सिटी ने बर्खास्त कर दिया है। द सदर्न यूनिवर्सिटी ऑफ साइंस एंड टेक्नोलॉजी (ससटेक) ने सोमवार को कहा कि जियानकुई के साथ किए गए सभी करार खत्म कर दिए गए हैं। उनके शोध भी निरस्त कर दिए गए हैं।
यूनिवर्सिटी ने हेल्थ कमीशन की रिपोर्ट के आधार पर यह निर्णय लिया है। इस रिपोर्ट में कहा गया है कि जियानकुई ने लोकप्रियता पाने के लिए जानबूझकर नियमों से खिलवाड़ किया था। वर्ष 2003 में जारी दिशा-निर्देशों के तहत चीन में प्रजनन के लिए जीन-एडिटिंग तकनीक के इस्तेमाल पर रोक है।
गत नवंबर में जियानकुई ने दावा किया था कि क्रिस्पर-कैस 9 नामक जीन एडिटिंग तकनीक से विकसित दो भ्रूण से दो लड़कियों का जन्म हुआ है। इस प्रक्रिया को असुरक्षित और अनैतिक बताते हुए दुनियाभर के वैज्ञानिकों ने जियानकुई की निंदा की थी। चीन के प्रशासन ने भी जियानकुई की निंदा करते हुए मामले की जांच के लिए एक टीम गठित की थी। देश में जीन-एडिटिंग से जुड़े शोधों को भी अस्थायी रूप से स्थगित कर दिया गया था।