अमेरिका अफगानिस्तान से अभी न हटाए अपनी सेना, 1 मई की डेडलाइन बढ़े आगे
अमेरिका (United States) अपने सैनिकों को अफगानिस्तान से 1 मई तक हटा लेगा लेकिन देश की संसद का कहना है कि वाशिंगटन की ओर से इस कार्रवाई की डेडलाइन में विस्तार करना चाहिए। इसे अफगान शांति वार्ता में बाधक नहीं बनना चाहिए।
वाशिंगटन, रॉयटर्स। अमेरिकी कांग्रेस को दी गई द्विदलीय रिपोर्ट में कहा गया है कि अमेरिका को अफगानिस्तान से सैनिकों को हटाने के लिए निर्धारित डेडलाइन 1 मई की तिथि आगे बढ़ा लेनी चाहिए। बुधवार को सांसदों को दी गई इस रिपोर्ट में कहा गया है कि बाइडन प्रशासन को इसपर काम करना चाहिए। अफगानिस्तान के स्टडी ग्रुप ने अपने अंतिम रिपोर्ट में कहा कि पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा निर्धारित डेडलाइन पर काम पूरा करने के क्रम में नेगेटिव प्रतिक्रियाओं को झेलना होगा। रिपोर्ट में कहा गया, 'गैरजिम्मेदाराना रवैये के साथ अमेरिकी सेना की वापसी से अफगानिस्तान में फिर से संघर्ष शुरू हो जाएगा। साथ ही इससे आतंकी गुटों का फिर से गठन होगा जो हमारे देश को खतरे में डाल सकता है।'
अमेरिका (United States) अपने सैनिकों को अफगानिस्तान से 1 मई तक हटा लेगा लेकिन देश की संसद का कहना है कि वाशिंगटन की ओर से इस कार्रवाई की डेडलाइन में विस्तार करना चाहिए। इसे अफगान शांति वार्ता में बाधक नहीं बनना चाहिए। बता दें कि अमेरिका के 12 हजार सैनिकों की वापसी 14 सप्ताह में होनी है। अब उसके सिर्फ ढाई हजार सैनिक ही अफगानिस्तान में रह गए हैं। तालिबान ने अलकायदा सहित अन्य संगठनों के अफगान की धरती पर हिंसा न करने और अमेरिकी सेना पर हमला न किए जाने का गारंटी दी है।
पिछले साल फरवरी में ट्रंप प्रशासन ने तालिबान के साथ अफगानिस्तान में अमेरिकी सैनिकों की संख्या चरणबद्ध तरीके से कम करने और 2021 तक सैनिकों की पूरी तरह वापसी को लेकर तालिबान के साथ समझौता किया था। हालांकि नए राष्ट्रपति जो बाइडन ने अफगानिस्तान में आतंकरोधी बल तैनात रखने की वकालत कर चुके हैं ताकि अल-कायदा जैसे चरमपंथी समूह अमेरिका पर हमले न कर पाएं।