रेफरेंडम 2020 खालिस्तान समर्थक पाक एजेंटों की करतूत, जल्द होंगे अतीत की बात
अमेरिका स्थित भारतीय राजदूत हर्षवर्धन श्रृंगला ने जनमत संग्रह 2020 को मुट्ठी भर खालिस्तान समर्थक पाक एजेंटों की करतूत बताया है।
वाशिंगटन, पीटीआइ। अमेरिका में भारत के राजदूत हर्षवर्धन श्रृंगला (Harsh Vardhan Shringla) ने जनमत संग्रह 2020 (Referendum 2020) की बात करने वाले मुट्ठी भर खालिस्तान समर्थकों (Khalistan supporters) को पाकिस्तान (Pakistan) का एजेंट करार दिया है। उनका आरोप है कि ये मुट्ठी भर लोग पाकिस्तान के इशारे पर भारत में आतंकी गतिविधियों (Acts of Terrorism) को तेज करने की फिराक में हैं। श्रृंगला के अनुसार, चंद हताश लोगों के इस समूह को सिखों का रत्ती भर भी समर्थन प्राप्त नहीं है। उन्होंने जनमत संग्रह 2020 को एक बेकार का मुद्दा करार दिया।
दरअसल अमेरिका में सक्रिय कुछ अलगाववादी सिखों ने उपरोक्त मुहिम के नाम पर अपनी दुकानदारी चला रखी है। ये लोग जनमत संग्रह 2020 के बहाने लोगों को गुमराह कर रहे हैं। इसी के मद्देनजर भारतीय राजदूत ने अलगाववादियों पर करारा हमला बोला है। बाल्टीमोर स्थित एक गुरुद्वारा में अरदास करने के बाद श्रृंगला बोले, 'इसके (जनमत संग्रह) आयोजक चंद लोग हैं। तथाकथित जनमत संग्रह 2020 एक बेकार का मुद्दा है।'
अतीत की बात हो जाएंगे खालिस्तान समर्थक
संवाददाताओं के सवालों का जवाब देते हुए उन्होंने यह तल्ख टिप्पणी की। उनके मुताबिक, 'ये लोग हताश हैं। आतंकी वारदातों को अंजाम देने की फिराक में है। इनका मकसद दहशतगर्दी फैलाना है। मेरा मानना है कि अब ये लोग अप्रासंगिक हो चुके हैं। जल्द अतीत की बात हो जाएंगे।'
दुश्मन देश से मिल रही खुली मदद
भारतीय राजदूत का कहना था, 'हम जानते ही हैं कि ये वो लोग हैं, जिन्हें हमारे पड़ोसी दुश्मन देश से खुली मदद मिल रही है। जनमत संग्रह की बात करने वाले दरअसल उसी देश (पाकिस्तान) के एजेंट हैं। इन लोगों ने झूठी अफवाह फैला रखी है। दुष्प्रचार में जुटे हैं।'
सिख समुदाय का समर्थन नहीं
उन्होंने कहा कि इन लोगों का सिख समुदाय में कोई समर्थन नहीं है। भारतीय राजदूत के अनुसार, भारत-अमेरिका दोस्ती को मजबूत करने में सिखों का अहम योगदान है। इससे पूर्व श्रृंगला ने सिख एसोसिएशन ऑफ बाल्टीमोर एवं सिख ऑफ अमेरिका द्वारा आयोजित कार्यक्रम में भी भाग लिया।