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जनरल सुलेमानी की हत्‍या के बाद अमेरिका के साथ आया NATO, ईरान को दी यह चेतावनी

नाटो (North Atlantic Treaty Organisation NATO) ने कहा है कि वह मध्य पूर्व में अमेरिका की नीतियों का समर्थन करता है। नाटो ने ईरान को एक हिदायत भी दी है। पढ़ें यह रिपोर्ट...

By Krishna Bihari SinghEdited By: Published: Tue, 07 Jan 2020 08:20 AM (IST)Updated: Tue, 07 Jan 2020 08:20 AM (IST)
जनरल सुलेमानी की हत्‍या के बाद अमेरिका के साथ आया NATO, ईरान को दी यह चेतावनी
जनरल सुलेमानी की हत्‍या के बाद अमेरिका के साथ आया NATO, ईरान को दी यह चेतावनी

ब्रुसेल्‍स, एएनआइ। उत्‍तरी एटलांटिक संधि संगठन यानी नाटो (North Atlantic Treaty Organisation, NATO) ने कहा है कि वह मध्य पूर्व में संयुक्त राज्य अमेरिका की नीतियों का समर्थन करता है और ईरान द्वारा विभिन्न आतंकवादी समूहों के समर्थन की निंदा करता है। नाटो देशों के राजदूतों की सोमवार को यहां मुख्‍यालय में हुई बैठक में क्षेत्र के मौजूदा हालातों पर चर्चा हुई। इस बैठक के बाद नाटो महासचिव जेन स्टोलटेनबर्ग Jens Stoltenberg ने ईरान से मध्‍य पूर्व क्षेत्र में तनाव कम करने की गुजारिश की।

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जेन स्टोलटेनबर्ग ने कहा कि हम विभिन्न आतंकी समूहों के ईरान के समर्थन की निंदा करते हैं। आज की बैठक में नाटो सदस्‍यों ने मध्‍य पूर्व में तनाव कम करने और संयम बरतने का आह्वान किया। उन्‍होंने कहा कि एक नया संघर्ष किसी के भी हित में नहीं होगा। ईरान को हिंसा और उकसावे की कार्रवाई से बचना चाहिए। समाचार एजेंसी एएनआइ ने अलजजीरा के हवाले से बताया कि बैठक के दौरान फ्रांस, जर्मनी एवं अन्य सदस्‍यों ने इराक में सैन्‍य अभियान जारी रखने पर सहमति जताई।

बता दें कि नाटो 29 उत्तरी अमेरिकी एवं यूरोपीय देशों का एक अंतर-सरकारी सैन्य गठबंधन है। नाटो इराक मिशन का गठन 2018 में आतंकी संगठन आईएस के खिलाफ तीन साल के युद्ध के बाद किया गया था। इसमें सदस्‍य देशों के सैकड़ों प्रशिक्षक, सलाहकार एवं सहायक कर्मचारी काम करते हैं।

उल्‍लेखनीय है कि बगदाद हवाईअड्डे के पास बीते शुक्रवार को अमेरिकी एयर स्‍ट्राइक में ईरानी जनरल कासिम सुलेमानी (62) की मौत हो गई थी। इस घटना के बाद ईरान और अमेरिका के बीच तनाव बढ़ गया है और युद्ध की आशंका पैदा हो गई है। ऐसे में विभिन्न देशों में इसे लेकर चिंता है। विभिन्‍न वैश्विक संस्‍थाओं द्वारा दोनों देशों से तनाव कम करने का आह्वान किया जा रहा है। ईरान ने अपने कमांडर की मौत का बदला लेने की बात कही है तो वहीं अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने धमकी दी है कि यदि ईरान ने अमेरिका के किसी ठिकाने को निशाना बनाया गया तो गंभीर नतीजे भुगतने होंगे।


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