Pulwama Terror Attack: पाकिस्तान को अमेरिका का दो टूक, आतंकियों का समर्थन बंद करे
ह्वाइट हाउस की प्रेस सचिव सारा सैंडर्स ने कहा, पाकिस्तान से अमेरिका अपील करता है कि वह सभी आतंकी संगठनों का समर्थन करना और उनको सुरक्षित पनाहगाह मुहैया कराना बंद कर दे।
वाशिंगटन, प्रेट्र। पुलवामा आतंकी हमले के बाद अमेरिका ने पाकिस्तान को कड़ा संदेश दिया है। उसने पाकिस्तान से दो टूक कहा कि वह सभी आतंकी संगठनों का समर्थन करना और उनको सुरक्षित पनाहगाह मुहैया कराना तत्काल बंद कर दे। अमेरिका के कई विशेषज्ञ पुलवामा हमले को पाकिस्तान की कुख्यात खुफिया एजेंसी आइएसआइ की करतूत मान रहे हैं।
अमेरिकी राष्ट्रपति भवन ह्वाइट हाउस की प्रेस सचिव सारा सैंडर्स ने गुरुवार रात बयान में कहा, 'पाकिस्तान से अमेरिका अपील करता है कि वह अपनी जमीन से संचालित सभी आतंकी संगठनों का समर्थन करना और उनको सुरक्षित पनाहगाह मुहैया कराना तुरंत बंद कर दे। इन संगठनों का एकमात्र लक्ष्य क्षेत्र में अराजकता, हिंसा और आतंक को फैलाना है। यह हमला आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में अमेरिका और भारत के सहयोग और साझेदारी को और मजबूत बनाता है।'
उन्होंने कहा, 'अमेरिका, पाकिस्तान आधारित आंतकी संगठन की ओर से किए गए पुलवामा हमले की कड़े शब्दों में निंदा करता है। इस जघन्य हमले के पीड़ित परिवारों, भारत सरकार और भारतीय लोगों के प्रति गहरी संवेदना जाहिर करते हैं।'
'साजिशकर्ताओं को आइएसआइ का समर्थन'
अमेरिकी खुफिया एजेंसी सीआइए के पूर्व विश्लेषक और दक्षिण एशिया मामलों के विशेषज्ञ ब्रूस रिडेल ने कहा कि जैश-ए-मुहम्मद द्वारा पुलवामा में आत्मघाती हमले की जिम्मेदारी लेना आइएसआइ की भूमिका पर सवाल खड़े करती है। इससे पता चलता है कि इस हमले के साजिशकर्ताओं को आइएसआइ का समर्थन हासिल है। इस हमले के तार सीधे पाकिस्तान से जुड़ते हैं और इसने प्रधानमंत्री इमरान खान के समक्ष बहुत बड़ी चुनौती पेश कर दी है।
50 सांसदों ने भी जाहिर किया आक्रोश
अमेरिका के 50 से ज्यादा सांसदों ने भी पुलवामा आतंकी हमले की कड़ी निंदा की और हमले को अंजाम देने वाले आतंकी संगठन जैश-ए-मुहम्मद के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की। डेमोक्रेटिक सांसद चक शूमर ने ट्वीट किया, 'मैं आतंकी हमले की कड़े शब्दों में निंदा करता हूं। अमेरिका, भारत में अपने मित्रों के साथ खड़ा है।' जबकि रिपब्लिकन सीनेटर जॉनी इसाक्सन ने हमले में शहीद हुए जवानों के परिवारों के प्रति संवेदना जाहिर की।