सुंदरवन में फिर मछुआरे को उठा ले गया बाघ
जागरण संवाददाता कोलकाता दक्षिण 24 परगना जिले के सुंदरवन अंतर्गत पीरखाली में केकड़ा पकड़ने
जागरण संवाददाता, कोलकाता : दक्षिण 24 परगना जिले के सुंदरवन अंतर्गत पीरखाली में केकड़ा पकड़ने गए एक मछुआरे को एक बार फिर बाघ द्वारा उठा ले जाने की घटना प्रकाश में आई है। उसकी पहचान मनोज मंडल के रूप में हुई है। 33 वर्षीय मनोज गोसाबा ब्लॉक के लाहिरीपुर ग्राम पंचायत के रजतजुबली दत्तपाड़ा का रहने वाला था। 10 साल पहले जंगल में केकड़ा पकड़ने के दौरान उसके पिता बाबूराम मंडल को भी इसी तरह बाघ जंगल में खींच ले गया था, जिसका बाद में जंगल से शव बरामद हुआ था। पिता की मौत के बाद एक दशक कर उसी पेशे को आगे बढ़ाते हुए मनोज अपने स्वजनों का भरण पोषण कर रहा था।
घर के एकमात्र कमाऊ व्यक्ति की 10 साल बाद फिर से बाघ का निवाला बन जाने के परिवार टूट गया है। विधवा मां आरती देवी और पत्नी नमिता का रो-रो कर बुरा हाल है। उधर, घटना की जानकारी होने के बाद वन विभाग मनोज की तलाश में जूट गया है। हालांकि खबर लिखे जाने तक उसके बरामद होने की कोई सूचना नहीं है।
सोमवार को चाचा संग जंगल में केकड़ा पहले निकला था
स्वजनों की मानें तो मनोज मंडल अपने चाचा शिवपद मंडल और किरण शील नामक व्यक्ति के साथ विगत सोमवार को सुंदरवन के जंगलों में मछली और केकड़ा पकड़ने निकला था। गुरुवार को सभी पीरखाली जंगल स्थित विद्यानदी में मछली-केकड़ा पकड़ रहे थे, तभी झाड़ियों से एक बाघ निकल कर आया और मनोज को अपने जबड़े में दबोच लिया। वहां मौजूद शिवपद और किरण ने बंसी (मछली पकड़ने वाले उपकरण) और लाठी से बाघ पर हमला कर मनोज को छुड़ाने की कोशिश की, लेकिन छुड़ा नहीं सके और बाघ उसे जंगल की ओर ले कर भाग गया। बाद में इसकी सूचना वन अधिकारियों को दी गई, जिसके बाद तलाश शुरू की गई है।