तृणमूल की ‘कट मनी’ संस्कृति के चलते किसानों के लिए राशि बंगाल सरकार को नहीं भेजी गई: भाजपा
दिलीप घोष ने कहा 2021 में बंगाल की सत्ता में आने के बाद किसानों को मिलेगा उनका बकाया। घोष ने कहा कि पैसा राज्य सरकार को नहीं भेजा जाएगा बल्कि किसानों के खातों में सीधे भेजा जाएगा। राज्य के किसानों का नुकसान हो रहा है।
कोलकाता, राज्य ब्यूरो। भाजपा ने शुक्रवार को कहा कि सत्तारूढ़ तृणमूल की ‘कट मनी’ संस्कृति के कारण केंद्र किसानों के बीच वितरित करने के लिए बंगाल सरकार को नगद राशि नहीं भेजी जा रही है। प्रदेश भाजपा अध्यक्ष दिलीप घोष ने यहां संवाददाताओं से कहा कि तृणमूल कांग्रेस मांग कर रही है कि जो राशि केंद्र द्वारा किसानों को वितरित की जा रही है वह राशि आगे वितरित करने के लिए राज्य सरकार को भेज दी जाए। उन्होंने आरोप लगाया कि हमने देखा है कि नरेंद्र मोदी द्वारा बंगाल सरकार को चक्रवात एम्फन आपदा से निपटने के लिए दी गई राशि का कैसे दुरुपयोग किया गया और तृणमूल कांग्रेस के नेताओं के बैंक खातों में राशि बढ़ गई।
केंद्र एक झूठी कहानी फैला रहा है
घोष ने कहा कि इसी कारण पैसा राज्य सरकार को नहीं भेजा जाएगा, बल्कि किसानों के खातों में सीधे भेजा जाएगा। तृणमूल ने कहा है कि केंद्र एक झूठी कहानी फैला रहा है कि बंगाल सरकार किसानों को नकद लाभ प्राप्त करने से वंचित कर रही है और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने केवल यह कहा था कि राशि सीधे उनके खातों में भेजने के बजाय राज्य के माध्यम से दी जाए।
अराजकता और अंतहीन भ्रष्टाचार
घोष ने कहा कि राज्य के किसानों का नुकसान हो रहा है और ‘बंगाल में भाजपा के सत्ता में आने पर (2021 के विधानसभा चुनावों में) उनका बकाया दिया जाएगा। उन्होंने भाजपा की चुनावी तैयारियों के बारे में कहा कि उसने एक नया अभियान शुरु किया है जो बूथ-आधारित होगा और स्थानीय पार्टी नेताओं के लिए दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं। बंगाल में लगभग 78,000 बूथ हैं और पार्टी राज्य में ‘अराजकता और अंतहीन भ्रष्टाचार’ को उजागर करेगी। ममता की इस घोषणा का उल्लेख करते हुए कि सिंगुर में कृषि आधारित पार्क स्थापित किया जाएगा, घोष ने कहा कि सरकार बंगाल में उद्योग लाने के दिन में सपने देख रही है।
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