बंगाल में पुलिस का अपराधीकरण : कैलाश विजयवर्गीय
-ममता के साथ भाईपो पर भी बोला हमला -हिंसा की राजनीति और भ्रष्टाचार चरम पर जागरण संवा
-ममता के साथ भाईपो पर भी बोला हमला
-हिंसा की राजनीति और भ्रष्टाचार चरम पर
जागरण संवाददाता,सिलीगुड़ी :बवाल से पहले उत्तरकन्या मिनी सचिवालय अभियान को संबोधित करते हुए सोमवार को जलपाई मोड़ पर भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव व भाजपा के बंगाल प्रभारी कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि बंगाल में पुलिस का अपराधीकरण हो गया है। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी देश के प्रधानमंत्री और गृहमंत्री को बाहरी कहती हैं। जबकि यहां के आतंकी और रोहिंग्या व बांग्लादेशी घुसपैठिये का अपना मानती हैं। ऐसे लोगों की ममता मौसी हैं क्या?। उन्होंने कहा कि पहले पुलिस का राजनीतिकरण किया गया लेकिन चुनाव निकट आते देख अब इसका अपराधीकरण कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि क्या ममता जी के राज में भाजपा के लिए काम करना अपराध है? बाबा साहेब अबंडेकर का संविधान सारे देश में चल रहा है, पर पश्चिम बंगाल में भाइपो का संविधान चलता है। यदि सड़क पर चलते किसी से पूछ लो कोयला चोर कौन है? गाय चोर कौन है ? बालू चोर कौन है? प्रदेश में गोल्ड माफिया कौन है ? सिंडिकेट राज का सरगना कौन है ? सभी बताएंगें। एक ही नाम वह है भाइपो का। मुख्यमंत्री तो नाम की ही सत्ता संभाले हुए हैं। बंगाल में भाइपो का संविधान है। पूरे प्रदेश में आराजकता का माहौल है। यह बहुत शर्म की बात है। उन्होंने कहा ममता जी की नौटंकी जनता समझ गई हैं।
आप जितनी सादगी में दिखती हैं, भाइपो उतना ही हाइफाइ हैं। भाइपो 25 लाख का चश्मा और 75 हजार के जूते पहनते हैं। आपका दोहरा चरित्र नहीं चलने वाला है। कुर्सी पर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी बैठी है और राज्य भाइपो का चल रहा है। प्रदेश की जनता इसे बर्दाश्त नहीं करेगी। हिंसा की राजनीति का प्रजातंत्र में कोई स्थान नहीं है। हिंसा के माध्यम से दबाना चाहेंगी, तो कोई भाजपा का कार्यकर्ता दबने वाला नहीं है। लगातार भाजपा कार्यकर्ताओं को झूठे मामले में फंसाया जा रहा है। उनको मारा पीटा जा रहा है और सरकार आख बंद कर बैठी है। हमारे सैकड़ों कार्यकर्ताओं को मार दिया गया। बंगाल जादू के लिए काफी चर्चित है। इन दिनों बंगाल में जादू पुलिस दिखाती है। यहां भाजपा के विधायक की हत्या कर दी जाती है लेकिन पुलिस के आला अधिकारी कहते है यह तो आत्महत्या है। इससे बढ़कर और जादू क्या हो सकता है। शर्म की बात है कि जिस चक्रवाती तुफान में लाखों परिवार पीडि़त हो गये और प्रधानमंत्री ने पहुंचकर हजार करोड़ रुपया दिया,लेकिन उसमें भी भ्रष्टाचार हुआ है।