अनुच्छेद 370 हटाने के फैसले के विरोध में सड़क पर उतरी माकपा
जम्मू कश्मीर से अनुछेद 370 और 35ए को हटाने के मोदी सरकार के फैसले को असंवैधानिक करार देते हुए मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) ने इसका कड़ा विरोध किया।
कोलकाता, जागरण संवाददाता। जम्मू कश्मीर से अनुछेद 370 और 35ए को हटाने के मोदी सरकार के फैसले को असंवैधानिक करार देते हुए मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) ने सोमवार को इसका कड़ा विरोध किया। पार्टी ने जम्मू कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती, फारुख अब्दुल्ला, उमर अब्दुल्ला और कम्युनिस्ट नेता कॉमरेड इसुफ तारीगमी सहित वहां के तमाम नेताओं को नजरबंद करने का भी कड़ा विरोध किया।
केंद्र के फैसले के विरोध में माकपा की कोलकाता जिला कमेटी ने महानगर में एक रैली भी निकाली और विरोध जताया। विरोध रैली कोलकाता के धर्मतल्ला स्थित लेनिन मूर्ति से शुरू होकर सेंट्रल एवेन्यू होते हुए महाजाति सदन जाकर समाप्त हुई। रैली में शामिल पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं ने केंद्र सरकार के विरोध और कश्मीर के समर्थन में नारे लगाए।
माकपा के वरिष्ठ नेता व पूर्व सांसद मोहम्मद सलीम ने कहा कि संविधान के अनुछेद 370 और 35ए को रद्द किए जाने को केंद्र का फैसला अलोकतांत्रिक, साम्प्रदायिक, असंवैधानिक और गैरकानूनी है। सरकार ने वादा किया था कि वो हर चीज में पारदर्शिता रखेगी, लेकिन इतना बड़ा फैसला करने से पहले किसी को विश्र्वास में नहीं लिया।
संविधान में कश्मीर के लिए एक वायदा किया गया था जिसे मोदी सरकार ने राजनीतिक फायदे के लिए तोड़ दिया। उन्होंने देश में अशांति का वातावरण तैयार करने का आरोप लगाते हुए कहा कि मोदी सरकार ने कश्मीर से 370 और 35ए हटा कर वहां की समस्याओं का समाधान करने के बजाए समस्याओं को और जटिल बना दिया है।
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