Move to Jagran APP

शहर में मा योजना शुरू,पांच रूपये में भोजन

-मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने वर्चुअल किया उद्घाटनपांच रुपये में अब भर पेट भोजन जागरण संवाददातासि

By JagranEdited By: Published: Tue, 16 Feb 2021 07:17 AM (IST)Updated: Tue, 16 Feb 2021 07:17 AM (IST)
शहर में मा योजना शुरू,पांच रूपये में भोजन
शहर में मा योजना शुरू,पांच रूपये में भोजन

-मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने वर्चुअल किया उद्घाटन,पांच रुपये में अब भर पेट भोजन

loksabha election banner

जागरण संवाददाता,सिलीगुड़ी: पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव से पहले मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सोमवार को मा योजना की शुरूआत की है। डिजिटल तरीके से इसकी शुरुआत की गई है। जिसके तहत राज्य सरकार निर्धनों को पाच रुपए के किफायती मूल्य पर भोजन मुहैया कराएगी। सोमवार को सिलीगुड़ी नगर निगम के वार्ड 18 स्थित सामुदायिक भवन में इस योजना शुरुआत की गई। इसका उद्घाटन मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने वर्चुअल रूप से किया। इस मौके पर दाíजलिंग जिला के एडीएम सुमंत सहाय, सिलीगुड़ी नगर निगम के आयुक्त सोनम वांग्दी, तृणमूल काग्रेस के जिला कोऑíडनेटर समेत बड़ी संख्या में वार्ड के लोग उपस्थित थे। जिला कोऑíडनेटर व वार्ड कोऑíडनेटर निखिल सहनी ने बताया कि इस योजना के तहत पाच रुपए में लोगों को थाली में चावल, दाल, एक सब्जी और अंडा करी परोसा जाएगा। ममता ने कहा कि राज्य सरकार प्रति प्लेट 15 रुपये की सब्सिडी वहन करेगी। यहा के बाद आवश्यकतानुसार दूसरे वार्डो में भी इस प्रकार की व्यवस्था की जाएगी। उन्होंने कहा कि प्रतिदिन दिन 1:00 बजे से 3:00 बजे तक इस योजना के तहत लोगों को भोजन उपलब्ध कराया जाएगा। भोजन वितरण और बनाने में पूरी तरह स्वच्छता का विशेष ध्यान रखा जाएगा।

पहले दिन ही यहां भोजन खाने वालों की काफी भीड़ उमड़ी। हाल में में कोलकाता में भी इस योजना की शुरूआत की गई है। राज्य सरकार पूरे राज्य में मात्र पांच रुपये में गरीबों को भर पेट भोजन देना चाहती है। अन्य स्थानों पर भी शीघ्र ही इस योजना की शुरूआत होगी।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.