बच्चों के टीकाकरण की गति धीमी
जागरण संवाददाता आसनसोल 15 से 17 साल के बच्चों को कोरोनारोधी टीकाकरण की गति पश्चिम बर्द्ध
जागरण संवाददाता, आसनसोल : 15 से 17 साल के बच्चों को कोरोनारोधी टीकाकरण की गति पश्चिम बर्द्धमान में काफी धीमी चल रही है। दस दिनों में एक तिहाई बच्चों को ही टीका दिया जा सका है। जबकि लक्ष्य काफी लंबा रखा गया है। आंकड़ों पर अगर गौर करें तो पश्चिम बर्द्धमान जिले में करीब एक लाख 40 हजार ऐसे बच्चे हैं जिनकी उम्र 15 से 17 साल है। स्वास्थ्य विभाग ने इस आंकड़ों को लक्ष्य भी माना है। लेकिन दस दिनों में महज 31 हजार 469 बच्चों को ही वैक्सीन दी जा सकी है। अगर यही गति रही तो लक्ष्य साधने में करीब दो महीने का वक्त लग जाएगा जबकि विभाग पर जिम्मेदारियां बढ़ती जा रहीं हैं। पहला, दूसरा और बच्चों के टीकाकरण के साथ फ्रंट लाइन व बुजुर्गों को बुस्टर डोज भी दिया जा रहा है। अगर गति तेज नहीं की गई तो लंबा सफर तय करना पड़ सकता है। जानकारों की मानें तो गति बढ़ाने के लिए लोगों को ही आगे आना होगा। अभिभावक जागरूक हों और अपने बच्चों को लेकर टीकाकरण केंद्र ले जाकर कोरोनारोधी टीकाकरण कराएं।
अब तक 3619 लोगों को मिला बुस्टर डोज : गुरुवार को पश्चिम बर्द्धमान जिला के मुख्य स्वास्थ्य अधिकारी सैयद मो. डा. यूनुस ने बताया कि 15 वर्ष से 17 वर्ष की आयु तक के 31 हजार 469 बच्चों को वैक्सीन दिया जा चुका है। उन्होंने बताया कि आसनसोल नगर निगम चुनाव को ध्यान में रखते हुए फ्रंटलाइन में कार्य करने वाले स्वास्थ्य कर्मी, पुलिस को बूस्टर डोज देना आरंभ कर दिया गया है। जिला के सीएमओएच डा. युनूस ने बताया कि बुधवार की शाम तक 3619 लोगों को बूस्टर डोज दिया जा चुका है। डोज देने के लिए जिला के विभिन्न अस्पतालों, स्वास्थ्य केंद्रों में पर्याप्त व्यवस्था की गई है जिससे फ्रंटलाइन वर्करों को डोज लेने में दिक्कतें ना हो।
रेलकर्मी व उनके परिजन कम आ रहे बुस्टर डोज लेने : 60 वर्ष से अधिक उम्र के रेलकर्मियों के परिजन ने बूस्टर डोज लिया है। गुरुवार की शाम रेल मंडल अस्पताल के मुख्य चिकित्सक अधीक्षक डा. मनोरंजन महता ने कहा कि पूर्व रेल प्रशासन की सहयोग से अस्पताल में पर्याप्त वैक्सीन की व्यवस्था की गई है। लेकिन कर्मियों की संख्या के अनुसार वैक्सीन लेने वाले रेलकर्मियों व उनके परिजनों की संख्या काफी कम है। उन्होंने कहा कि रेलकर्मियों व उनके परिजनों को वैक्सीन लेने के लिए रेल प्रशासन, अस्पताल प्रशासन लगातार जागरूकता अभियान चला रही है ताकि कोई भी वैक्सीन से वंचित ना रहे। सीएमएस ने बताया कि कई डाक्टर एवं स्वास्थ्य कर्मी कोरोना के चपेट में आने के बावजूद अस्पताल में इलाज के संबंध में किसी तरह की कमी नहीं है, स्वास्थ्य से जुड़ी सारी सुविधाओं की पर्याप्त व्यवस्था की गई है।