कोयला तस्करी मामले में विकास मिश्रा सीबीआइ रिमांड पर
आसनसोल कोयला तस्करी मामले में सीबीआइ ने शुक्रवार को ट्रांजिट रिमांड के आधार पर दिल्ली
आसनसोल : कोयला तस्करी मामले में सीबीआइ ने शुक्रवार को ट्रांजिट रिमांड के आधार पर दिल्ली के तिहाड़ जेल से प्रोडक्शन वारंट पर विकास मिश्रा को आसनसोल सीबीआइ अदालत में पेश किया। सीबीआइ की ओर से आरोपित को 14 दिनों के सीबीआइ रिमांड की मांग की गई। सीबीआइ जज जयश्री बनर्जी ने दोनों पक्षों की लंबी दलीलों को सुनने के उपरांत आरोपित को सात दिनों के सीबीआइ रिमांड पर भेज दिया। आरोपित की अगली पेशी आसनसोल सीबीआइ अदालत में 22 अप्रैल को होगी। रिमांड मिलने के बाद सीबीआइ उसे लेकर कोलकाता रवाना हो गई, जहां निजाम पैलेस में उससे लंबी पूछताछ होगी। सीबीआइ सूत्रों के मुताबिक तृणमूल नेता विनय मिश्रा का भाई विकास मिश्रा है। सीबीआइ का आरोप है कि विनय मिश्रा, उसका भाई विकास मिश्रा ने अपने करीबी रिश्तेदार बांकुड़ा थाना के प्रभारी अशोक मिश्रा के साथ मिलकर कोयला तस्कर अनूप माजी उर्फ लाला से करोड़ों रुपए लिए व यह रुपये राज्य के नौकरशाह व नेताओं को दिया गया। आज तक सीबीआइ विनय मिश्रा को गिरफ्तार नहीं कर पाई है। विनय मिश्रा सितंबर 2020 में अपने दो पासपोर्ट के सहारे देश छोड़कर फरार हो चुका है। उसके दुबई अथवा सिगापुर मलेशिया में छिपे होने की संभावना है। सीबीआइ विनय मिश्रा के खिलाफ इंटरपोल से रेड कार्नर नोटिस भी निर्गत कर चुकी है, जबकि लाला फिलहाल सुप्रीम कोर्ट से मिली न्यायिक कवच पर चल रहा है। यह दलील शुक्रवार को आसनसोल सीबीआइ अदालत में सीबीआइ के वकील राकेश कुमार ने दी। जबकि जवाब में कोलकाता हाईकोर्ट से आए बचाव पक्ष के वकील सव्यसांची बनर्जी ने सीबीआइ अदालत को बताया कि उनके मुवक्किल विकास मिश्रा की तबीयत बहुत खराब है। इसके पक्ष में उन्होंने अदालत में तिहाड़ जेल की मेडिकल रिपोर्ट आसनसोल सीबीआइ अदालत में जमा की है। उन्होंने अदालत को बताया कि एक माह पहले दिल्ली में ईडी ने विकास मिश्रा को गिरफ्तार किया तभी से वह तिहाड़ जेल में कैद है। उसकी तबीयत बहुत खराब थी, इसलिए उनके मुवक्किल को जमानत दी जाए। पलटवार करते हुए सीबीआइ के वकील राकेश कुमार ने आरोपित की जमानत अर्जी निरस्त करने की अदालत से अर्जी लगाई।