सात घंटे में निकला 2.5 मिलीयन क्यूविक मीटर पानी
दुर्गापुर दामोदर के दुर्गापुर बैराज का 31 नंबर लॉकगेट को क्षतिग्रस्त हुए रविवार को दो दि
दुर्गापुर : दामोदर के दुर्गापुर बैराज का 31 नंबर लॉकगेट को क्षतिग्रस्त हुए रविवार को दो दिन हो गया, लेकिन संध्या समय तक मरम्मत का कार्य शुरू नहीं हो सकेगा। मरम्मत के लिए दामोदर बैराज का पानी पूरी तरह खाली किया गया। बैराज में लगभग 2.5 मिलीयन क्यूविक मीटर पानी था, तकरीबन सात घंटे में पानी लगभग खाली हो गया है, लेकिन जिस 31 नंबर गेट का मरम्मत होना है, उसके आसपास से ही जल का प्रवाह हो रहा है। अब जल के प्रवाह को अन्य गेट की तरफ मोड़ने के लिए प्रयास किया जा रहा है। मरम्मत कार्य शुरू होने के बाद कार्य पूरा होने में तकरीबन 18-20 घंटे लगने का अनुमान किया जा रहा है। लेकिन मरम्मत की दिशा में अब तक कोई कार्य शुरू नहीं हुआ है। रविवार को सिचाई विभाग के अतिरिक्त सचिव नवीन प्रकाश, पश्चिम वर्द्धमान के डीएम पूर्णेदु माजी समेत अन्य अधिकारियों ने भी दौरा किया।
शनिवार की सुबह पांच बजे लॉक गेट क्षतिग्रस्त होने की बात सामने आई थी। जिसकी मरम्मत के लिए बैराज का पानी खाली करने का निर्णय लिया गया, सुबह नौ बजे से तीन गेट खोलकर पानी निकालना शुरू हुआ। कुछ समय बाद दो और गेट को खोल दिया गया। रात से काम होने वाला था, लेकिन संध्या 4-5 बजे तक बैराज का लगभग पूरा पानी निकल चुका था। फिर भी 31 नंबर गेट की ओर से जल का प्रवाह जारी था, वहां गहराई भी है। इस कारण रात में काम नहीं शुरू हो सका। रविवार की सुबह भी वैसी ही स्थिति देखी गई। जिसके बाद सिचाई विभाग के अभियंताओं ने पानी के प्रवाह को मोड़ने के लिए बालू का बोरा लगाना शुरू किया, शाम तक बालू का बोरा लगाना जारी रहा। दोपहर दो बजे सिचाई विभाग के अतिरिक्त सचिव नवीन प्रकाश पहुंचे। उन्होंने विभाग के इंजीनियरों से बातचीत कर स्थिति की जानकारी ली। उन्होंने कहा कि साठ वर्ष पुराना बैराज है। जिसकी मरम्मत नहीं हुई थी। वर्ष 2016 में अन्य बैराज के साथ-साथ दुर्गापुर बैराज का भी सेफ्टी ऑडिट हुआ। वर्ष 2018 में यहां के 11 गेट को बदलने का निर्णय बाकी के मरम्मत एवं रखरखाव का निर्णय हुआ था। उसके पहले वर्ष 2017 में एक नंबर गेट क्षतिग्रस्त हुआ था। साठ साल पुराने बैराज में काम करने में समय लगता है। उसका काम चल रहा है। उन्होंने कहा कि सोमवार की शाम तक लॉक गेट का मरम्मत हो जाएगा। मंगलवार से समस्या दूर हो जाने की संभावना जताई।