कोविड से पीडब्ल्यूडी के ठेकेदार व एफसीआइ के पूर्व प्रबंधक की मौत
काशीपुर में कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामले अब डराने लगे हैं।
जागरण संवाददाता, काशीपुर : कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामले अब डराने लगे हैं। शुक्रवार को ही यहां पीड़ित दो बुजुर्गों की इलाज के दौरान मौत हो गई। दोनों का निगम कर्मियों ने कोविड-19 की गाइडलाइन के मुताबिक अंतिम संस्कार कराया। इस दौरान परिवार के कुछ सदस्यों को ही श्मशान घाट जाने और दूर खड़े रहने की अनुमति दी गई थी। इसके साथ ही सरकारी और प्राइवेट अस्पतालों में इलाज के लिए पहुंच रहे मरीजों का पहले कोविड टेस्ट कराया जा रहा है। मोहल्ला कटोराताल निवासी पीडब्ल्यूडी में ठेकेदार 68 वर्षीय रामगोपाल मित्तल की बीते दिनों अचानक हालत बिगड़ गई। तब स्वजनों ने तीन अप्रैल को उन्हें मानपुर रोड स्थित एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया। चार अप्रैल को आरटीपीसीआर सैंपल जांच को भेजा गया। पांच को आई रिपोर्ट में वह संक्रमित पाए गए। उनका निजी अस्पताल में इलाज चल रहा था कि इसी दौरान 14 अप्रैल की शाम उन्होंने दम तोड़ दिया। रात को ही स्थानीय श्मशान घाट में कोविड गाइडलाइन के मुताबिक अंतिम संस्कार कर दिया गया।
उधर, आवास विकास निवासी पीके अग्रवाल एफसीआइ में प्रबंधक के पद से सेवानिवृत्त हुए थे। पांच अप्रैल को उनकी अचानक हालत बिगड़ने पर स्वजनों ने मानपुर रोड स्थित एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया, जहां जांच में वह कोरोना संक्रमित पाए गए। उनका अस्पताल में ही इलाज चल रहा था। इसी दौरान गुरुवार की सुबह करीब 5.30 बजे उनकी मौत हो गई। नगर निगम की टीम ने स्थानीय श्मशान घाट में अंतिम संस्कार किया।
नगर निगम ने की पूरी तैयारी
तकरीबन तीन माह तक राहत के बाद काशीपुर में कोविड से मौत के मामले अचानक बढ़ने लगे हैं। नगर निगम के कार्यालय अधीक्षक विकास शर्मा ने बताया कोविड-19 की गाइडलाइन के मुताबिक प्रशासन ने निगम के राजन सुपरवाइजर के साथ चार सदस्यीय टीम का गठन किया है। यही टीम संक्रमण से मरने वालों का अंतिम संस्कार करेगी। दोनों बुजुर्गो के तीन-तीन सदस्य श्मशान घाट पहुंचे थे। उन्हें भी काफी दूर रोक दिया गया था।
कोरोना नोडल अधिकारी डा. अमरजीत साहनी ने बताया वर्ष 2021 जनवरी माह से अब तक दो बुजुर्गों की कोरोना संक्रमण से मौत हुई है। दोनों का निजी अस्पताल में इलाज चल रहा था। अब दोनों बुजुर्गों के परिवार के अन्य सदस्यों के सैंपल जांच को भेजे जा रहे हैं।