वीआइपी दर्शनों पर रोक से मंदिर परिसर में सुधरी व्यवस्था
संवाद सहयोगी, रुद्रप्रयाग : केदारनाथ धाम में लगातार देश-विदेश से आ रहे तीर्थयात्रियों की भारी भीड़ को
संवाद सहयोगी, रुद्रप्रयाग : केदारनाथ धाम में लगातार देश-विदेश से आ रहे तीर्थयात्रियों की भारी भीड़ को देखते हुए जिलाधिकारी मयूर दीक्षित ने व्यवस्थाओं की कमान स्वयं अपने हाथों में ले ली है। केदारनाथ धाम व पैदल मार्ग पर सभी व्यवस्थाओं की मानीटरिग स्वयं डीएम कर रहे हैं। वीआइपी दर्शनों पर रोक के बाद मंदिर परिसर में दर्शनों की व्यवस्था में सुधार आ गया है। अब आसानी से आम भक्त दर्शन कर रहे हैं, जबकि धाम में 75 शौचालय और स्थापित किए जा चुके हैं। पैदल मार्ग पर सफाई कर्मियों की संख्या भी बढ़ा दी है।
रोजाना 18 हजार से अधिक यात्री केदारनाथ बाबा के दर्शनों को पहुंच रहे हैं। इससे व्यवस्थाएं सुचारू रखने में प्रशासन को काफी पसीना बहाना पड़ रहा है। बढ़ती भीड़ को देख जिलाधिकारी ने गुरुवार से वीआइपी दर्शनों पर रोक लगा दी। इसके बाद धाम में शुक्रवार को मंदिर परिसर में यात्रियों ने व्यवस्थित रूप से दर्शन किए। पैदल मार्ग पर पेयजल की दिक्कत न हो इसके लिए जल संस्थान के अधिशासी अभियंता संजय सिंह को धाम में ही कैंप करने के निर्देश दिए हैं।
पैदल मार्ग पर भी अब प्रत्येक घोड़ा-खच्चर के साथ एक हाकर जा रहा है। पूर्व में दस घोड़े-खच्चरों के साथ एक ही हाकर जा रहा था। पैदल मार्ग पर भी सफाई व्यवस्था के लिए 200 सफाई कर्मी बढ़ा दिए हैं। सभी घोड़े-खच्चरों व उनके स्वामियों तथा हाकरों को अनिवार्य रूप से जिला पंचायत में रजिस्ट्रेशन करवाने के निर्देश भी दिए है। वर्तमान में केदारनाथ यात्रा में 8516 घोड़े-खच्चरों का रजिस्ट्रेशन किया है, जबकि 500 घोड़ा-खच्चर संचालकों (हाकर) का भी पंजीकरण हुआ है। साथ ही 2200 डंडी-कंडी का रजिस्ट्रेशन हुआ है।
वहीं जिलाधिकारी मयूर दीक्षित ने जिला पूर्ति अधिकारी को एक सप्ताह तक केदारनाथ में ही कैंप करने के निर्देश दिए हैं, यात्रियों को गुणवत्ता युक्त भोजन मिले इसके लिए आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिए हैं। साथ ही यात्रा व्यवस्था से जुड़े सभी अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए हैं कि यदि लापरवाही बरती गई तो कठोर कार्रवाई की जाएगी।
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बदरीनाथ धाम में दर्शनों को लेकर वन-वे व्यवस्था
गोपेश्वर : बदरीनाथ धाम में इस बार दर्शनों को लेकर वन-वे सिस्टम लागू किया है। दर्शन के बाद वीआइपी सहित सभी यात्रियों की वापसी अलग-अलग रास्तों से होगी। इससे यात्रियों की दर्शनों की लाइन बाधित नहीं हो रही है।
बदरीनाथ धाम में वीआइपी या फिर विशेष पूजा करने वालों के लिए गुजराती धर्मशाला के सामने से यात्रियों की दर्शनों की लाइन रोककर आवाजाही कराई जाती थी, जिससे सिंहद्वार से दर्शन के लिए लाइन पर लगे श्रद्धालु एतराज भी करते हैं। विशिष्टि (वीआइपी) व अतिविशिष्ट (वीवीआइपी) के आवागमन के दौरान श्रद्धालुओं की लाइन रोकनी पड़ती थी। अब श्री बदरीनाथ केदारनाथ मंदिर समिति ने विशेष पूजा व वीआइपी के लिए वीवीआइपी गेस्ट हाउस से सीधे मंदिर के वीआइपी गेट के पास तक ओवर ब्रिज बनाया है। इसे पूरी तरह से बंद करने से वीआइपी व अन्य की आवाजाही के दौरान आम श्रद्धालुओं को दिक्कत भी नहीं हो रही है। इसके अलावा आम श्रद्धालुओं को मंदिर में दर्शनों के बाद वापसी के दौरान पुराने रास्ते से ही वापस लाया जा रहा है। यहां पर आम श्रद्धालुओं की लाइन को ओवर ब्रिज के जरिये भेजा जा रहा है। इससे किसी की भी आवाजाही में श्रद्धालुओं की लाइन को रोकने से निजात मिली है। श्री बदरीनाथ केदारनाथ मंदिर समिति के सीईओ बीडी सिंह ने बताया कि यात्री सुविधाओं को ध्यान में रखते हुए यात्रियों के दर्शन लाइन, वापसी रास्ता व वीआइपी रास्तों को अलग किए जाने से श्रद्धालुओं को सहूलियत हुई है। उन्होंने कहा कि यात्री सुविधाओं को लेकर मंदिर समिति तत्पर है।