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गौला नदी में लगातार घट रहा पानी, हल्द्वानी में गहराया जलसंकट

गौला नदी के पानी पर हल्द्वानी शहर की पेयजल व्यवस्था टिकी हुई है। इसके साथ ही कालाढूंगी रोड पर लामाचौड़ तक रामपुर रोड पर बेलबाबा तक बरेली रोड और पूरे गौलापार क्षेत्र में सिंचाई गोला के पानी पर ही निर्भर है।

By Prashant MishraEdited By: Published: Sat, 23 Jan 2021 01:20 PM (IST)Updated: Sat, 23 Jan 2021 01:20 PM (IST)
गौला नदी में लगातार घट रहा पानी, हल्द्वानी में गहराया जलसंकट
सिंचाई विभाग के मुताबिक गोला नदी में 100 क्यूसेक के आसपास पानी रह गया है।

जागरण संवाददाता, हल्द्वानी : हल्द्वानी की लाइफ लाइन कही जाने वाली गौला नदी में लगातार पानी घटता जा रहा है। इससे हल्द्वानी और आसपास के ग्रामीण इलाकों में पानी का संकट गहराने लग गया है। गोला में पानी कम होने से किसान और सिंचाई विभाग के अफसर चिंतित है।

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गौला नदी के पानी पर हल्द्वानी शहर की पेयजल व्यवस्था टिकी हुई है। इसके साथ ही कालाढूंगी रोड पर लामाचौड़ तक, रामपुर रोड पर बेलबाबा तक, बरेली रोड और पूरे गौलापार क्षेत्र में सिंचाई गोला के पानी पर ही निर्भर है। वहीं इस साल सर्दी का मौसम शुरू होने से ही बरसात काफी कम हुई है। इससे गोला का पानी लगातार कम होते जा रहा है। सिंचाई विभाग के मुताबिक गोला नदी में 100 क्यूसेक के आसपास पानी रह गया है। इसमें से 30 क्यूसेक पानी रोजाना जल संस्थान को पेयजल आपूर्ति के लिए दिया जाता है। शेष पानी को सिंचाई के लिए छोड़ा जाता है।

सिंचाई विभाग के अवर अभियंता मनोज तिवाड़ी ने बताया कि सभी नहरों को एक साथ चलाने के लिए करीब 200 क्यूसेक पानी की जरूरत होती है। गोला में पानी की कमी होने से दिन तय कर नहरों में पानी छोड़ा जा रहा है। अगर जल्द पहाड़ो में बरसात नहीं हुई तो गर्मी का मौसम आने तक पानी की काफी संकट खड़ा हो जाएगा। इससे सिंचाई और पेयजल आपूर्ति काफी प्रभावित हो जाएगी। वहीं, बचिनगर के पूर्व प्रधान वीरेंद्र सिंह ने बताया कि पानी की कमी से गेहूं की फसल सूखने लगी है। जल्द बरसात नहीं हुई तो फसलों को काफी नुकसान होगा और किसानों को आर्थिक नुकसान झेलना पड़ेगा।


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