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Haldwani News : कलसिया पुल निर्माण के लिए चौथी बार भी खुले टेंडर में भी नहीं मिले ठेकेदार

काठगोदाम में कलसिया नाले के ऊपर स्थित दो में से एक पुल की स्थिति खराब होने पर पिछले साल अगस्त में एनएच ने टेंडर करा 2.34 करोड़ रुपये में एक ठेकेदार का चयन किया था।वर्क आर्डर देने पर उसने महंगाई का हवाला देते हुए काम करने से मना कर दिया।

By Skand ShuklaEdited By: Published: Thu, 19 May 2022 02:26 PM (IST)Updated: Thu, 19 May 2022 02:26 PM (IST)
Haldwani News : कलसिया पुल निर्माण के लिए चौथी बार भी खुले टेंडर में भी नहीं मिले ठेकेदार
Haldwani News : कलसिया पुल निर्माण के लिएचौथे टेंडर में भी नहीं मिला कोई ठेकेदार

जागरण संवाददाता, हल्द्वानी: हल्द्वानी और पहाड़ को आपस में जोडऩे के लिहाज से अहम कलसिया पुल के निर्माण को लेकर चौथी बार आमंत्रित किए गए टेंडर में भी ठेकेदार का चयन नहीं हो सका। करीब 15 बाद फिर से आनलाइन टेंडर होंगे। 15 जून से मानसून सीजन शुरू हो जाएगा। ऐसे में बरसात के दौरान कलसिया पुल के नीचे नाले में पिलर तैयार करने के काम में काफी दिक्कत आएगी।

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काठगोदाम में कलसिया नाले के ऊपर स्थित दो में से एक पुल की स्थिति खराब होने पर पिछले साल अगस्त में एनएच ने टेंडर करा 2.34 करोड़ रुपये में एक ठेकेदार का चयन किया था। लेकिन छह महीने बाद वर्क आर्डर देने पर उसने महंगाई का हवाला देते हुए काम करने से मना कर दिया। इसके बाद 28 मार्च, 18 अप्रैल और अब 18 मई को आनलाइन टेंडर खुले गए।

लेकिन ठेकेदारों ने प्रतिभाग ही नहीं किया। अब अगले टेंडर में ठेकेदार का चयन होने पर भी जल्द काम शुरू करवाना मुश्किल लग रहा है। क्योंकि, बारिश सीजन में नींव से जुड़े पिलर खड़े करने में ठेकेदार को भी दिक्कत आएगी। एनएच अफसरों के मुताबिक ठेकेदार के न मिलने की वजह महंगाई भी है। मई अंत में विभाग में निर्माण दरों में कुछ प्रतिशत बढ़ोतरी होती है। अगर किसी ने टेंडर डाला होता तो नई दरों के हिसाब से उसका आकलन भी किया जाता।

एससी एनएच अरुण पांडे ने बताया क‍ि ठेकेदारों के प्रतिभाग नहीं करने की वजह से दोबारा टेंडर आमंत्रित किया जाएगा। मई अंत में विभाग में निर्माण को नई दरें तय होगी। ठेकेदारों से अपील है कि अगले टेंडर में हिस्सा जरूर ले।

पिलर दूर की बात, खतरों घरों तक

काठगोदाम से निकलने वाले कलसिया नाले के दोनों छोर पर आबादी है। हर बरसात में यहां रहने वाले लोगों के सामने संकट की स्थिति बन जाती है। नाले में पानी की रफ्तार बढऩे पर भू-कटाव मकानों को खतरे में डाल देता है। ऐसे में लोगों को यहां से सुरक्षित स्थान पर शिफ्ट करने की नौबत भी कई बार आ चुकी है। वहीं, पुल निर्माण के सबसे पहले नींव को सेट किया जाएगा। मगर बारिश से पिलरों को भी खतरा पैदा हो सकता है।


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