बच्ची से अश्लील हरकतें करने का आरोपित शिक्षक पीड़िता के पिता को रुपए देकर दबाना चाहता है मामला
अल्मोड़ा जिले के जीआइसी मनान के शिक्षक की एक और कारगुजारी सामने आई है। बच्ची से अश्लील हरकतें व मानसिक प्रताडऩा के आरोपित शिक्षक ने कानूनी शिकंजे से बचने के लिए गुपचुप पीडि़ता के पिता को अर्थदंड देकर मामला रफादफा करने का मौखिक प्रस्ताव भेजा है।
अल्मोड़ा, जागरण संवाददाता : अल्मोड़ा जिले के जीआइसी मनान के शिक्षक की एक और कारगुजारी सामने आई है। बच्ची से अश्लील हरकतें व मानसिक प्रताडऩा के आरोपित शिक्षक ने कानूनी शिकंजे से बचने के लिए गुपचुप पीडि़ता के पिता को अर्थदंड देकर मामला रफादफा करने का मौखिक प्रस्ताव भेजा है। इस मामले में बच्ची के पिता ने शिक्षा महानिदेशालय को शिकायती पत्र भेजने के करीब आठ दिन बाद चुप्पी तोड़ यह खुलासा किया। कहा कि कुछ लोगों के जरिये उस पर समझौते का दबाव भी बनाया यह भी कहा कि पत्र में नंबर आदि ब्योरा दिए जाने के बावजूद जांच कमेटी ने अभी तक उससे संपर्क कर पक्ष जानने का प्रयास नहीं किया गया है।
जिले के जीआइसी मनान (सोमेश्वर तहसील) में तैनात शिक्षक पर 12 वर्षीय छात्रा से अश्लील हरकतें व आपत्तिजनक बातें कर छेड़छाड़ का गंभीर आरोप लगा है। बीती 28 मई को पीडि़ता के पिता ने महानिदेशक शिक्षा को शिकायती पत्र लिख आरोपित शिक्षक के खिलाफ कार्रवाई की गुहार लगाई थी। इधर मामला सुर्खियों में आने के बाद सीइओ हर्षबहादुर चंद ने तीन सदस्यीय जांच कमेटी गठित कर जांच बैठाई। इधर कमेटी के शिकायकर्ता से कोई संपर्क न होने का हवाला दिए जाने के बाद विभाग की ओर से पीडि़ता के पिता को पक्ष रखने संबंधी नोटिस की तैयारी शुरू कर दी गई।
उधर गाजियाबाद की एक प्राइवेट कंपनी में कार्यरत बच्ची के पिता ने 'जागरणÓ से संपर्क साध एक और खुलासा किया। कहा कि उसकी बेटी से अश्लील व्यवहार व उसे मानसिक रूप से प्रताडि़त करने वाला शिक्षक संपर्क में है। बताया कि वह अर्थदंड लेकर मामला दबाने की गुहार लगा रहा है। बच्ची के पिता ने कहा कि शिक्षक ने उसकी बेटी से छेड़छाड़ कर उसे मानसिक रूप से इस कदर डर बैठाया गया है कि वह अब भी सामान्य नहीं हो सकी है। उसने बताया कि बेटी को बमुश्किल कुरेदे जाने पर उसे रो रो कर आपबीती बताई थी। उसके बाद वह बेटी को लेकर गाजियाबाद आ गया।
जानिए क्या कहते हैं पीड़ित के पिता
पीड़ित बच्ची के पिता ने बताया कि जीआइसी मनान में तैनात आरोपित शिक्षक पर भरोसा कर बेटी को ट्यूशन के लिए भेजते थे। वह (शिक्षक) मेरे संपर्क में है। वह अर्थदंड लेकर किसी तरह मामला सुलझाने के लिए कह रहा है। कुछ लोगों से फोन भी करवाए हैं लेकिन मैं बेटी के मामले में कोई समझौता नहीं करूंगा। मुझे न्याय चाहिए। महानिदेशक शिक्षा को लिखे शिकायती पत्र में मैंने अपना मोबाइल नंबर व पता सब दिया है। अब पता लगा है कि जांच कमेटी उल्टा मुझे ही नोटिस भेज रही है। जबकि मुझसे संपर्क कर एक बार भी मेरा पक्ष नहीं लिया गया। मेरे पिता चोटिल हैं। बेटी सामान्य नहीं है। उसे छोड़कर मैं बयान देने के लिए अल्मोड़ा आने की स्थिति में अभी नहीं हूं।
शिकायतकर्ता मौके पर नहीं : सीईओ
मुख्य शिक्षा अधिकारी अल्मोड़ा एचबी चंद ने बताया कि शिकायतकर्ता मौके पर नहीं है। जांच कमेटी को उसे नोटिस भेजने को कहा गया है। ताकि उसकी शिकायत को सुना जा सके। कमेटी को शिकायतकर्ता से संपर्क कर मामले की जांच के बाद रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए हैं। अब उन्हें (बच्ची के पिता) कौन दबाव में ले रहा है, इसकी शिकायत नहीं मिली है।
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