Jageshwar Dham Dispute : आरोपित भाजपा सांसद कश्यप के बचाव में भी आए पुजारी, वीडियो वायरल
Jageshwar Dham Dispute पुजारियों के मुखिया भाजपा सांसद धर्मेंद्र कश्यप की गिरफ्तारी व शिवधाम आकर सार्वजनिक रूप से क्षमायाचना पर अड़े हैं। वहीं कुछ पुजारी सांसद के बचाव की मुद्रा में भी आ गए हैं। मामले में एक पुजारी कमल भट्ट का वीडियो वायरल भी हुआ है।
जागरण संवाददाता, जागेश्वरधाम (अल्मोड़ा) : Jageshwar Dham Dispute : पवित्र जागेश्वरधाम में अभद्रता प्रकरण में कार्रवाई को लेकर अब पुजारियों में भी एक राय नहीं दिख रही है। पुजारियों के मुखिया भगवान भट्ट आंवला से भाजपा सांसद धर्मेंद्र कश्यप की गिरफ्तारी व शिवधाम आकर सार्वजनिक रूप से क्षमायाचना पर अड़े हैं। वहीं कुछ पुजारी सांसद के बचाव की मुद्रा में भी आ गए हैं। इस मामले में एक पुजारी कमल भट्ट का वीडियो वायरल भी हुआ है।
31 जुलाई की शाम आंवला (बरेली मंडल) से भाजपा सांसद धर्मेंद्र कश्यप, उनके दोस्त मोहन राजपूत व सुनील तायल ने जागेश्वरधाम में प्रबंधक भगवान भट्ट व पुजारियों से अभद्रता की थी। धक्कामुक्की व गालीगलौज करने से माहौल बिगड़ गया था। इसके बाद सांसद द्वारा अभद्रता व गालीगलौज का वीडियो वायरल हुआ तो कुमाऊं भर में विरोध प्रदर्शन शुरू हो गया था। अगले ही दिन प्रशासन ने सांसद कश्यप व साथियों के खिलाफ मुकदमा भी दर्ज कर लिया। अब एक तरफ सांसद की गिरफ्तारी को लेकर कांग्रेस, आप, धार्मिक संगठन एवं पुजारी लामबंद हो रहे हैं। वहीं मंदिर समूह के ही एक पुजारी कमल भट्ट का सांसद के समर्थन में वीडियो वायरल हो रहा है।
पुष्टिमाता मंदिर के पुजारी पंडित कमल भट्ट ने बताया कि सांसद धर्मेंद्र कश्यप विगत वर्षों से यहां आते रहे हैं। उन्होंने हमेशा पंडितों का मनोबल ही बढ़ाया। हमने कभी उनके आचरण में कभी कोई कमी भी नहीं पाई। हमारा मतलब पूजा से ही रहा है। मंदिर प्रबंधन का काम कमेटी के अंडर है। अब कमेटी ने व्यवस्था के बारे में उन्हें कैसे समझाया जिसे लेकर दोनों में विवाद रहा। यह हमारे लिए दुखद है। मैं तो कहता हूं कि मंदिरों में सरकारी कमेटियां होनी ही नहीं चाहिए। इससे अराजकता बढ़ ही रही है। पूजा पद्धति बिगड़ ही रही है। सरकार को कमेटी पर ध्यान देना चाहिए।
जागेश्वर मंदिर समूह पुजारी प्रतिनिधि पं. भगवान भट्ट ने बताया कि धार्मिक स्थल क्षेत्र में अपशब्द बड़ा अपराध माना गया है। हम सांसद कश्यप के खिलाफ कार्रवाई की मांग कर रहे हैं। गिरफ्तारी हो और वह शिवधाम आकर क्षमायाचना करें। जो पुजारी मौके पर नहीं थे, उनका बचाव में बोलना ठीक नहीं। शिवधाम, प्रबंधक व पुजारियों का अपमान बर्दास्त योग्य नहीं है।