चाइल्ड लाइन हेल्प लाइन नंबर 1098 का सार्वजनिक स्थानों पर प्रचार-प्रसार जरूरी, बच्चों को मिलेगी मदद
बुधवार को जिला सभागार में हुई बैठक में उन्होंने हेल्प लाइन नंबर की उपयोगिता पर विस्तार से प्रकाश डाला। डीएम ने बैठक में गंभीरता न दिखाने पर अनुपस्थित अधिकारियों से स्पष्टीकरण मांगा है। उन्होंने कहा कि चाइल्ड हेल्प लाइन नंबर का व्यापक प्रचार प्रसार करना जरूरी है।
जागरण संवाददाता, चम्पावत : चाइल्ड लाइन एडवाइजरी बोर्ड की बैठक में डीएम विनीत तोमर ने संबंधित विभागों को पत्रकों, फ्लैक्सी, वॉल पेंटिंग आदि में चाइल्ड हेल्प लाइन नंबर 1098 को अनिवार्य रूप से अंकित करने के निर्देश दिए हैं। बुधवार को जिला सभागार में हुई बैठक में उन्होंने हेल्प लाइन नंबर की उपयोगिता पर विस्तार से प्रकाश डाला। डीएम ने बैठक में गंभीरता न दिखाने पर अनुपस्थित अधिकारियों से स्पष्टीकरण मांगा है।
उन्होंने कहा कि चाइल्ड हेल्प लाइन नंबर का व्यापक प्रचार प्रसार करना जरूरी है। ताकि बच्चों को हर संकट से बचाया जा सके। उन्होंने बालिकाओं को हेल्पलाइन नंबर के बारे में विस्तार से जानकारी देने को कहा। कहा कि सभी अस्पताल, विद्यालय, पंचायत घर, धार्मिक स्थान, आंगनबाड़ी केंद्र और सार्वजनिक स्थानों में 1098 अनिवार्य रूप से प्रदर्शित होना चाहिए। डीएम ने उत्तराखंड परिवहन निगम को बसों के अलावा लोहाघाट, टनकपुर व बनबसा बस अड्डे में वॉल पेंटिंग कर नंबर को अनिवार्य रूप से अंकित करने को कहा। उन्होंने ग्राम विकास अधिकारियों को प्रधानों के माध्यम से खुली बैठकों में इल्ड हेल्पलाइन नंबर का की जानकारी देने और उसका प्रचार-प्रसार करने के निर्देश दिए।
बैठक का संचालन करते हुए चाइल्ड एडवाइजरी बोर्ड की सदस्य ने बताया कि चम्पावत में चाइल्ड लाइन को अक्टूबर 2018 से आज की तिथि तक कुल 302 केस प्राप्त हुए हैं। जिसमें से 277 केसों को निस्तारित कर दिया गया है। बाल यौन शोषण के आठ, खोए हुए बच्चों के 33, बाल विवाह के तीन, घरेलू हिंसा के 13 केस दर्ज किए गए थे। बताया कि वात्सल्य योजना के कुल 184 केस चाइल्ड लाइन को मिले हैं। जिनमें से 174 को वात्सल्य योजना का लाभ मिलना शुरू हो गया है। बैठक में संचालन संतोषी, पूजा लोहनी, प्रकाश चंद्र, सीमा देवी, अर्चना लोहनी, मीरा रावत, शैलजा गडक़ोटी, हेमा बिष्ट, ललिता बोहरा, डीपीओ लक्ष्मी पंत मौजूद रहे।