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पूर्ण वेतन की मांग को लेकर पीजी डॉक्टरों ने किया प्रदर्शन, अब सांकेतिक विरोध करेंगे

पूर्ण वेतन की मांग को लेकर शुक्रवार को पीजी डॉक्टरों ने विरोध प्रदर्शन किया। राजकीय मेडिकल कॉलेज के मैदान में एकत्र डॉक्टरों ने सरकार पर भेदभाव का आरोप लगाया। पीएमएचएस संगठन से जुड़े डॉक्टरों ने कहा कि वे लंबे समय से अल्प वेतन पर कार्य कर रहे हैं।

By Skand ShuklaEdited By: Published: Fri, 25 Sep 2020 03:36 PM (IST)Updated: Fri, 25 Sep 2020 04:42 PM (IST)
पूर्ण वेतन की मांग को लेकर पीजी डॉक्टरों ने किया प्रदर्शन, अब सांकेतिक विरोध करेंगे
पूर्ण वेतन की मांग को लेकर शुक्रवार को पीजी डॉक्टरों ने विरोध प्रदर्शन किया।

हल्द्वानी, जेएनएन : प्रांतीय चिकित्सा सेवा संवर्ग के पीजी डॉक्टरों ने शुक्रवार को हल्द्वानी मेडिकल कॉलेज में विरोध प्रदर्शन किया। मुख्यमंत्री द्वारा घोषणा किए जाने के नौ माह बाद भी पीजी डॉक्टरों को पूर्ण वेतन का लाभ न दिए जाने पर नाराजगी जताई। कार्य बहिष्कार के इरादे से एकत्र हुए डॉक्टरों को स्वास्थ्य सचिव के लिखित आश्वासन के बाद मना लिया गया। हालांकि, डॉक्टरों ने  शासनादेश जारी करने के लिए एक माह का समय देते हुए शनिवार से बांह में काली पट्टी बांधकर सांकेतिक विरोध जारी रखने की बात कही है। 

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राजकीय मेडिकल कॉलेज हल्द्वानी के मैदान में शुक्रवार को पीजी डॉक्टर कार्य बहिष्कार के लिए बड़ी संख्या में एकत्र हुए। जहां डॉ. सुरेश कुमार ने कहा कि पीएचएमएस पीजी डॉक्टर पिछले कई महीनों से पूर्ण वेतन की मांग कर रहे हैं। सीएम ने छह जनवरी को इसकी घोषणा भी की लेकिन, तब से लगातार आश्वासनों की घुट्टी ही पिलाई जा रही है। इससे नाराज होकर पूर्व में सभी पीजी डॉक्टर 11 सितंबर से कार्य बहिष्कार पर जाने वाले थे लेकिन मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. सीपी भैसोड़ा के अनुरोध पर इसे स्थगित कर दिया गया। डॉ. कुमार ने कहा कि इसके बाद कार्य बहिष्कार का कार्यक्रम 25 सितंबर से शुरू करने का आह्वान किया गया। जिसके तहत शुक्रवार को सभी पीजी डॉक्टर यहां एकत्र हुए।

इधर विरोध प्रदर्शन के दौरान प्राचार्य डॉ. भैसोड़ा के साथ सभी पीजी डॉक्टरों की बैठक हुई। जिसमें डॉ. भैसोड़ा ने स्वास्थ्य सचिव के पत्र के बारे में उन्हें बताया। जिसमें मांग पर कार्रवाई किए जाने की बात कही गई। इस लिखित आश्वासन के बाद डॉक्टरों ने पूर्ण कार्य बहिष्कार का फैसला वापस ले लिया। साथ ही कहा कि यदि 25 अक्टूबर तक पूर्ण वेतन का शासनादेश जारी न हुआ तो कार्य बहिष्कार फिर शुरू किया जाएगा। इस मौके पर डॉ. नरेंद्र, डॉ. मोहित, डॉ. कपिल, डॉ. मनोज, डॉ. विदित, डॉ. कविता आदि मौजूद रहे।


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