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एमबीपीजी में शुरू हुए गाइडेंस एंड काउंसलिंग स्किल्स कोर्स को लेकर बढ़ा रुझान

एमबीपीजी कालेज में संचालित हो रहे पीजी डिप्लोमा इन गाइडेंस एंड काउंसलिंग स्किल्स पाठ्यक्रमों को लेकर छात्र-छात्राओं का रुझान बढ़ा है। इस रोजगारपरक पाठयक्रम के लिए अब तक 44 विद्यार्थियों ने पंजीकरण करा लिया है। विद्यार्थियों ने कहा कि भविष्य संवारने लिए यह पाठ्यक्रम लाभाकारी साबित होगा।

By Skand ShuklaEdited By: Published: Fri, 03 Dec 2021 09:39 AM (IST)Updated: Fri, 03 Dec 2021 09:39 AM (IST)
एमबीपीजी में शुरू हुए गाइडेंस एंड काउंसलिंग स्किल्स कोर्स को लेकर बढ़ा रुझान
एमबीपीजी में शुरू हुए गाइडेंस एंड काउंसलिंग स्किल्स कोर्स को लेकर बढ़ा रुझान

जागरण संवाददाता, हल्द्वानी : एमबीपीजी कालेज में संचालित हो रहे पीजी डिप्लोमा इन गाइडेंस एंड काउंसलिंग स्किल्स पाठ्यक्रमों को लेकर छात्र-छात्राओं का रुझान बढ़ा है। इस रोजगारपरक पाठयक्रम के लिए अब तक 44 विद्यार्थियों ने पंजीकरण करा लिया है। विद्यार्थियों ने कहा कि भविष्य संवारने लिए यह पाठ्यक्रम लाभाकारी साबित होगा। इस तरह का पाठ्यक्रम शुरू करने वाला एमबीपीजी कालेज कुमाऊं का पहला महाविद्यालय है।

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एमबीपीजी कालेज के मनोविज्ञान विभाग की विभागाध्यक्ष व कोर्स समन्वयक डा. रश्मि पंत ने बताया कि इस पाठ्यक्रम को लेकर छात्र-छात्राएं लगातार पूछताछ कर रहे हैं। अच्छी बात यह है कि अब तक कुमाऊं विश्वविद्यालय की वेबसाइट पर 44 विद्यार्थियों ने पंजीकरण करा लिया है। इसमें 30 सीटें निर्धारित हैं। एमए मनोविज्ञान, मास्टर आफ सोशल वर्क और बीएड कर चुके छात्र-छात्राएं इस कोर्स में प्रवेश ले सकते हैं। अभी कुमाऊं विश्वविद्यालय के बीए फाइनल व एमए फाइनल ईयर का परीक्षा परिणाम घोषित नहीं हुआ है। रिजल्ट घोषित होते ही परीक्षा शुल्क जमा कर कोर्स शुरू कर दिया जाएगा।

रेनू ने बताया कि एमबीपीजी कालेज में रोजगारपरक पाठ्यक्रम शुरू किया जा रहा है। यह हमारे लिए बेहद उपयोगी है। इस तरह कोर्स आज की जरूरत है। शालिनी का कहना है कि मनोविज्ञान के विद्यार्थियों के लिए पीजी डिप्लोमा इन गाइडेंस एंड काउंसलिंग स्किल्स बेहतर पाठयक्रम है। इसके जरिये हमें काउंसलिंग से संबंधित बारीकियां सीखने को मिलेंगी। रक्षिता कहती हैं कि मनोविज्ञान के क्षेत्र में बहुत अधिक काम करने की जरूरत है। आज जिस तरह लोग मानसिक बीमारियों से जूझ रहे हैं। इसके लिए उचित काउंसलिंग की जरूरत है।

एमबीपीजी कालेज मनोविज्ञान विभाग एचओडी डा. रश्मि पंत का कहना है कि इस समय मानसिक समस्याएं भी तेजी से बढ़ी हैं। इनके समाधान के लिए मनोवैज्ञानिक परामर्शदाताओं की जरूरत पडऩे लगी है। इस कोर्स के जरिये विद्यार्थी कई क्षेत्रों में नौकरी हासिल कर सकते हैं और खुद का रोजगार कर सकते हैं।

एमबीपीजी में अब नहीं होंगे आफलाइन प्रवेश

एमबीपीजी कालेज में अब आफलाइन प्रवेश नहीं होंगे। प्रवेश प्रभारी डा. अमित सचदेवा ने बताया कि एमबीपीजी में सांध्यकालीन कक्षाओं में दाखिले के लिए प्रार्थना पत्र देने वाले छात्रों का डाटा कुमाऊं विवि को भेजा गया था। पंजीकरण शुल्क और इंटरमीडिएट का अंकपत्र जमा कराने वाले विद्यार्थियों डाटा वेबसाइट में अपलोड कर दिया है। उन्होंने बताया कि कालेज में अब आफलाइन प्रवेश नहीं दिए जाएंगे।


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