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सरकार ने हाईकोर्ट को बताया, क्वारंटीन सेंटरों में सुविधाओं के लिए ग्राम प्रधानों को जारी किया गया बजट

मामले में सरकार ने जवाब दाखिल कर कहा कि सभी ग्राम प्रधानों को क्वांरटाइन सेंटरों की व्यवस्था को दुरुस्त रखने के लिए बजट जारी कर दिया गया है।

By Skand ShuklaEdited By: Published: Tue, 23 Jun 2020 12:20 PM (IST)Updated: Tue, 23 Jun 2020 12:20 PM (IST)
सरकार ने हाईकोर्ट को बताया, क्वारंटीन सेंटरों में सुविधाओं के लिए ग्राम प्रधानों को जारी किया गया बजट
सरकार ने हाईकोर्ट को बताया, क्वारंटीन सेंटरों में सुविधाओं के लिए ग्राम प्रधानों को जारी किया गया बजट

नैनीताल, जेएनएन : मामले में सरकार ने जवाब दाखिल कर कहा कि सभी ग्राम प्रधानों को क्वांरटाइन सेंटरों की व्यवस्था को दुरुस्त रखने के लिए बजट जारी कर दिया गया है। जहां शिकायत आ रही है वहां सरकार व्यवस्थाओं को सुचारु बनाने का प्रबंध कर रही है। वहीं कोर्ट ने सचिव वित्त व आपदा प्रबंधन को दिया आदेश कि जिन जिलों में फंड नहीं अब तक नहीं दिया गया है वहां तत्काल जारी किए जाएं। इसके साथ ही प्रदेश में बोर्ड परीक्षाआें को लेकर भी हाईकोर्ट ने सुनवाई की। मामले में कोर्ट में स्पष्ट निर्देश दिया है कि परीक्षा के एक दिन पहले केन्द्रों को सैनिटाइज किया जाए।

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हाईकोर्ट ने राज्य में क्वारंटीन सेंटरों की बदहाली के मामले को गंभीरता से लेते हुए कहा है कि जिन जिलों में फंड नहीं दिया गया है, वहां तत्काल फंड जारी किया जाए। सरकार की ओर से कोर्ट में जवाब दाखिल कर कहा गया है कि सभी ग्राम प्रधानों को बजट जारी किया जा चुका है। जहां शिकायत आ रही है तो सरकार समस्या का निस्तारण कर रही है। कोर्ट ने सचिव वित्त व आपदा प्रबंधन को कहा है कि जिन जिलों में फंड नहीं मिला, वहां तत्काल कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं। बोर्ड परीक्षा के लिए भी कोर्ट ने निर्देश देते हुए कहा है कि परीक्षा के हर हर दिन परीक्षा से पहले सेनेटाइज किया जाए।

न्यायाधीश न्यायमूर्ति सुधांशु धूलिया व न्यायमूर्ति रवींद्र मैठाणी की खंडपीठ में अधिवक्ता दुष्यंत मैनाली, हरिद्वार के सच्चिदानंद डबराल व बागेश्वर के डीके जोशी की अलग-अलग जनहित याचिका पर एक साथ सुनवाई हुई। याचिकाकर्ता द्वारा कोर्ट को अवगत कराया गया है कि कोविड-19 से लड़ने के लिए अभी भी जरूरी बजट ग्राम पंचायत को बजट नहीं दिया गया है। याचिकाकर्ता द्वारा यह भी बताया कि आशा व आंगनबाड़ी वर्कर्स को नियमित रूप से सेंटर में उचित देखभाल करने व बाहर से आ रहे लोगो का व्यौरा उपलब्ध कराने की जिम्मेदारी दी गयी है, लेकिन उन्हें मास्क, ग्लव्स आदि के लिए कोई अतिरिक्त फण्ड नहीं दिया जा रहा है जिसकी व्यवस्था उन्है खुद के खर्च से करनी पड़ रही है। अगली सुनवाई 30 जून को तय की है।

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