आचार संहिता उल्लंघन पर रहेगी सी-विजिल एप की नजर
जिला निर्वाचन अधिकारी विनोद कुमार सुमन ने शुक्रवार को सी विजिल एप की जानकारी दी। बताया कि इसकी सहायता से कोई भी नागरिक आदर्श आचार संहिता उल्लंघन की शिकायत कर सकेगा।
By Edited By: Published: Sat, 23 Feb 2019 07:30 AM (IST)Updated: Sat, 23 Feb 2019 08:27 PM (IST)
हल्द्वानी, जेएनएन। जिला निर्वाचन अधिकारी विनोद कुमार सुमन ने शुक्रवार को भारत निर्वाचन आयोग के सी-विजिल एप बारे में जानकारी दी। बताया कि इसकी सहायता से कोई भी नागरिक आदर्श आचार संहिता उल्लंघन की शिकायत कर सकेगा और उस शिकायत का निस्तारण 100 घंटे के भीतर किया जाएगा। सी-विजिल एप सभी नवीनतम एंड्रायड स्मार्ट फोन को सपोर्ट करेगा। एप पर प्राप्त होने वाली शिकायत में कोई भी लापरवाही की गुंजाइश नही है और कोई भी अधिकारी शिकायत छुपा नहीं पाएगा। शुक्रवार को नगर निगम सभागार में फ्लाइंग स्क्वायड स्टैटिक सर्विलास तथा वीडियो सर्विलास टीमों के लिए आयोजित बैठक में उन्होंने बताया कि सी-विजिल एप में पुराना कोई भी वीडियो या फोटो किसी व्यक्ति के द्वारा साझा किया गया तो एप इसे स्वीकार नहीं करेगा।
प्रत्येक टीम की जीपीएस लोकेशन ऑन रहेगी तथा आचार संहिता उल्लंघन की शिकायत प्राप्त होने पर संबंधित क्षेत्र में टीम को 15 मिनट के भीतर मौके पर पहुंचना अनिवार्य होगा। 30 मिनट के भीतर कार्रवाई करते हुए जिला निर्वाचन अधिकारी को रिपोर्ट प्रस्तुत करनी भी अनिवार्य है। उन्होंने बताया कि एप पर प्राप्त होने वाली शिकायत की डेसबोर्ड मॉनीटरिंग के माध्यम से जिला निर्वाचन अधिकारी, रिटर्निंग ऑफिसर, सहायक रिटर्निंग ऑफिसर, मुख्य निर्वाचन अधिकारी व भारत निर्वाचन आयोग द्वारा मॉनीटरिंग की जाएगी। तीन चरणों में काम करेगा सी-विजिल एप लोकसभा चुनाव की आदर्श आचार संहिता लागू होने पर यह एप सक्रिय किया जाएगा। इस एप के ऑपरेटिंग मॉडल में तीन चरणों में काम होता है।
प्रथम चरण
इस चरण में आदर्श आचार संहिता उल्लघंन का मामला देखने पर नागरिक एप खोलेगा और एक फोटो खींचेगा या वीडियो रिकार्ड करेगा। यह फोटो या वीडियो जीपीएस द्वारा आटोमेटिक लोकेशन मैपिंग के साथ एप पर अपलोड होगा। शिकायतकर्ता नागरिक को उसके मोबाइल पर एक यूनिक आईडी मिलेगी, जिसके जरिए वह प्रक्रिया का अपडेट ले सकेगा।
दूसरा चरण
इस चरण में शिकायत मिलने पर सूचना नियंत्रण कक्ष में बने कंट्रोल रूम में साउंड बजेगा, जहा से इसे संबंधित फील्ड यूनिट को अग्रसारित कर दिया जाएगा। हर फील्ड यूनिट के पास एक जीआइएस आधारित मोबाइल एप्लीकेशन होगी, जिसे सी-विजिल डिस्पेचर कहते हैं, इससे फील्ड यूनिट को लोकेशन सहित शिकायत प्राप्त हो जाती है। तीसरा चरण : इसमें फील्ड यूनिट द्वारा कार्यवाही करने के बाद संबंधित रिटर्निंग अधिकारी को निर्णय व निस्तारण के लिए सी-विजिल डिस्पेचर के माध्यम से की गई कार्यवाही की रिपोर्ट दी जाएगी। घटना सही पायी जाने पर आगे की कार्यवाही के लिए सूचना भारत निर्वाचन आयोग के राष्ट्रीय शिकायत पोर्टल पर भेजी जाएगी।
यह भी पढ़ें : आम चुनाव से पहले भाजपा सरकार ने बेतालघाट के लिए खोली तिजोरी
प्रत्येक टीम की जीपीएस लोकेशन ऑन रहेगी तथा आचार संहिता उल्लंघन की शिकायत प्राप्त होने पर संबंधित क्षेत्र में टीम को 15 मिनट के भीतर मौके पर पहुंचना अनिवार्य होगा। 30 मिनट के भीतर कार्रवाई करते हुए जिला निर्वाचन अधिकारी को रिपोर्ट प्रस्तुत करनी भी अनिवार्य है। उन्होंने बताया कि एप पर प्राप्त होने वाली शिकायत की डेसबोर्ड मॉनीटरिंग के माध्यम से जिला निर्वाचन अधिकारी, रिटर्निंग ऑफिसर, सहायक रिटर्निंग ऑफिसर, मुख्य निर्वाचन अधिकारी व भारत निर्वाचन आयोग द्वारा मॉनीटरिंग की जाएगी। तीन चरणों में काम करेगा सी-विजिल एप लोकसभा चुनाव की आदर्श आचार संहिता लागू होने पर यह एप सक्रिय किया जाएगा। इस एप के ऑपरेटिंग मॉडल में तीन चरणों में काम होता है।
प्रथम चरण
इस चरण में आदर्श आचार संहिता उल्लघंन का मामला देखने पर नागरिक एप खोलेगा और एक फोटो खींचेगा या वीडियो रिकार्ड करेगा। यह फोटो या वीडियो जीपीएस द्वारा आटोमेटिक लोकेशन मैपिंग के साथ एप पर अपलोड होगा। शिकायतकर्ता नागरिक को उसके मोबाइल पर एक यूनिक आईडी मिलेगी, जिसके जरिए वह प्रक्रिया का अपडेट ले सकेगा।
दूसरा चरण
इस चरण में शिकायत मिलने पर सूचना नियंत्रण कक्ष में बने कंट्रोल रूम में साउंड बजेगा, जहा से इसे संबंधित फील्ड यूनिट को अग्रसारित कर दिया जाएगा। हर फील्ड यूनिट के पास एक जीआइएस आधारित मोबाइल एप्लीकेशन होगी, जिसे सी-विजिल डिस्पेचर कहते हैं, इससे फील्ड यूनिट को लोकेशन सहित शिकायत प्राप्त हो जाती है। तीसरा चरण : इसमें फील्ड यूनिट द्वारा कार्यवाही करने के बाद संबंधित रिटर्निंग अधिकारी को निर्णय व निस्तारण के लिए सी-विजिल डिस्पेचर के माध्यम से की गई कार्यवाही की रिपोर्ट दी जाएगी। घटना सही पायी जाने पर आगे की कार्यवाही के लिए सूचना भारत निर्वाचन आयोग के राष्ट्रीय शिकायत पोर्टल पर भेजी जाएगी।
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