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चीनी एक्सप्रेस-वे को टक्कर देगा पिथौरागढ़ का ऑलवेदर रोड, उच्च हिमालय में 12 मीटर चौड़ी होगी सड़क

नई योजना के तहत मध्य हिमालयी भू-भाग तक सड़क की चौड़ाई दस मीटर व उच्च हिमालय में अब 12 मीटर होगी। चीन सीमा तक यही चौड़ाई रहेगी। टनकपुर से पिथौरागढ़ तक ऑलवेदर सड़क का कार्य अंतिम चरण में है।

By Prashant MishraEdited By: Published: Sat, 05 Dec 2020 09:03 AM (IST)Updated: Sat, 05 Dec 2020 09:03 AM (IST)
चीनी एक्सप्रेस-वे को टक्कर देगा पिथौरागढ़ का ऑलवेदर रोड, उच्च हिमालय में 12 मीटर चौड़ी होगी सड़क
मई से गर्बाधार-लिपुलेख मार्ग के चौड़ीकरण का कार्य युद्धस्तर पर चल रहा है। वर्ष 2022 तक काम पूरा हो जाएगा।

ओपी अवस्थी, पिथौरागढ़ : सीमावर्ती क्षेत्रों में चीन जिस तेजी से एक्सप्रेस-वे बना रहा है उसके जवाब में अपने ऑलवेदर रोड की चौड़ाई भी बढ़ाई जा रही है। इससे किसी आपात स्थिति में सैन्य आयुधों के आवागमन में आसानी होगी। राहत व बचाव कार्य भी तेजी से निपटाए जाएंगे। नई योजना के तहत मध्य हिमालयी भू-भाग तक सड़क की चौड़ाई दस मीटर व उच्च हिमालय में अब 12 मीटर होगी। चीन सीमा तक यही चौड़ाई रहेगी। टनकपुर से पिथौरागढ़ तक ऑलवेदर सड़क का कार्य अंतिम चरण में है। पिथौरागढ़ से अस्कोट, धारचूला, गर्बाधार तक सड़क चौड़ीकरण का कार्य अंतिम चरण में है। वहीं, मई से यातायात के लिए खुले गर्बाधार-लिपुलेख मार्ग के चौड़ीकरण का कार्य युद्धस्तर पर चल रहा है। वर्ष 2022 तक काम पूरा हो जाएगा। इसके बाद उत्तराखंड से चीन सीमा का सीधे जुड़ाव होगा।

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भारत से लगी सीमा पर चीन सड़कों का जाल बिछा रहा है। सूत्रों के अनुसार पिथौरागढ़ जिले से लगती सीमा तक वह एक्सप्रेस वे का निर्माण कर रहा है। हालांकि भारत भी इस मामले में पीछे नहीं है। उत्तराखंड के पिथौरागढ़ जिले के गर्बाधार से चीन सीमा लिपुलेख तक पहली सड़क के अस्तित्व में आने के बाद अब चीन जैसी सड़कों का सपना साकार होने लगा है। तवाघाट से चीन सीमा लिपुलेख तक 90 किमी सड़क का कायाकल्प किया जा रहा है। प्रथम चरण में तवाघाट से गर्बाधार तक डामरीकरण हो रहा है। वर्ष 2021 तक गर्बाधार तक सड़क चकाचक होगी। सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) के अनुसार वर्ष 2022 तक लिपुलेख तक सड़क का नजारा बदला रहेगा। गर्बाधार से छियालेख तक सड़क 10 मीटर चौड़ी होगी। अभी तक यह कहीं पर आठ तो कहीं दस मीटर चौड़ी है। इनर लाइन छियालेख से चीन सीमा लिपुलेख तक सड़क की चौड़ाई 12 मीटर होगी। टनकपुर से लिपुलेख तक सेना के लिए सारे उपकरण, भारी वाहन व अन्य सामान पहुंचना संभव हो जाएगा। गुंजी से कुटी व आदि कैलास तक बनने वाली सड़क की चौड़ाई भी 12 मीटर होगी।

ऑलवेदर रोड का इसी माह होगा उद्घाटन

टनकपुर से पिथौरागढ़ तक 150 किमी लंबे ऑलवेदर रोड का इसी माह उद्घाटन होगा। गुरना मंदिर के पास कुछ मीटर सड़क काटनी शेष है। पिथौरागढ़ से धारचूला-तवाघाट के बीच बीआरओ की ओर से किया जा रहा चौड़ीकरण कार्य बस दो स्थानों पर ही शेष है। सभी पुल नए बना दिए गए हैं।

चीन सीमा पर बनने वाली अन्य सड़कें

चीन सीमा पर दारमा घाटी में तिदांग तक केंद्रीय लोक निर्माण विभाग सड़क बना चुका है। तिदांग से अंतिम गांव सीपू तक सड़क स्वीकृत है। मुनस्यारी से मिलम तक बन रही सड़क को बीआरओ ने 2021 के मध्य तक तैयार करने का दावा किया है। निर्माण को गति देने के लिए बीआरओ ने अपने दो टूवाइसी स्तर के अधिकारी इस क्षेत्र में तैनात किए हैं।


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