हर बीमारी के लिए नहीं दौड़ना पड़ेगा डॉक्टर के पास, इस खबर में पढ़िए कुछ रामबाण इलाज
छोटी-छोटी बीमारियों से निपटने की दवाएं आपको कुदरत के आंचल से ही मिल जाएंगी। बस जरूरत है इनके बारे में जागरूक होने की।
देहरादून, जेएनएन। प्रकृति ने जिस तरह से हमें रोग दिए हैं, उसी तरह उनको निरोग रहने का भी खजाना दिया है। कुदरत के इस खजाने के बारे में थोड़ी से जानकारी आपको निरोग बनाए सकती है। प्राचीनकाल में हमारे ऋषि-मुनि, वैद्य और दादी अम्मा भी इन्हीं नुस्खों को अपना कर बड़ी सी बड़ी बीमारी को दूर रखते थे। हमें भी बस अपने आसपास के प्राकृतिक साधनों के बारे में थोड़ा जागरूक होना पड़ेगा। प्रकृति ने जितने भी द्रव्य दिए हैं, वह सब औषधि के रूप में प्रयोग में लाए जा सकते हैं। आइए जानतें है इनके बारे में।
तुलसी-हर घर के गमले में तुलसी अवश्य लगाई जाती है। तुलसी की चार पत्तियां एक चम्मच शहद के साथ सुबह-सुबह लें तो खांसी, जुकाम जैसी बीमारी से छूटकारा मिलेगा।
आंवला-हर दिन एक आंवले के सेवन से शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को अच्छा किया जा सकता है।
नीम की पत्तियां-आपके आसपास निश्चित ही नीम के पेड़ लगे मिल जाएंगे, बस इसकी तीन पत्तियां आप अच्छी प्रकार धो कर चबा लें। इससे आप बारिश के मौसम में होने वाले वायरल संक्रमणों से बचे रह पाएंगे।
सौंठ-यदि आप किचन में रखी सूखी अदरक-सौंठ को बस चूस भर लें, तो आपको अच्छी भूख लगने लगेगी और पाचन की क्रिया मजबूत हो जाएगी ।
गिलोय-आपके आसपास पेड़ पर चढ़ी गिलोय अवश्य ही मिल जाएगी, जिसे अमृत तुल्य माना गया है। इसके एक छोटे टुकड़े को अच्छी प्रकार धोकर मुहं में रखकर चूसें, बुखार, जुकाम आदि समस्याएं आपको छू भी नही पाएंगी।
हल्दी-आपके किचन में हल्दी अवश्य ही मिल जाएगी, हर रोज दूध में हल्दी मिलाकर रात को सोने से पहले पीना आपके जोड़ों के दर्द, सूजन आदि समस्याओं में काफी राहत देती है ।
मेथी दाना-यदि आप डायबिटिक हैं तो किचन में रखा मेथी का पाउडर एक चम्मच फांक लें, इससे भी आपका शुगर नियंत्रण में रहता है।
आयुर्वेद चिकित्सक डॉ. स्वास्तिक जैन बताते हैं कि ये कुछ ऐसे सरल और आसपास ही मिलने वाली छोटी छोटी जान पड़ने वाली औषधियां हैं जो हमे अपने रसोईघर में ही मिल जाती है। इनका हर दिन सेवन आपको रोगों से बचाता है और लंबी निरोगी काया प्रदान करता है ।
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