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वन्यजीवों की मौत के कारणों की जांच को कमेटी

उत्तराखंड में पिछले पांच साल के वक्फे में हुई वन्यजीवों की मौत के कारणों का सच अब सामने आएगा।

By JagranEdited By: Published: Sat, 20 Apr 2019 10:13 PM (IST)Updated: Sun, 21 Apr 2019 06:30 AM (IST)
वन्यजीवों की मौत के कारणों की जांच को कमेटी
वन्यजीवों की मौत के कारणों की जांच को कमेटी

राज्य ब्यूरो, देहरादून

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उत्तराखंड में पिछले पांच साल के वक्फे में हुई वन्यजीवों की मौत के कारणों का सच अब सामने आएगा। इस सिलसिले में जांच पड़ताल के लिए प्रमुख सचिव वन आनंदव‌र्द्धन ने मुख्य वन्यजीव प्रतिपालक रंजना काला की अध्यक्षता में जांच कमेटी गठित करने के आदेश दिए हैं। यह कमेटी एक माह के भीतर विभिन्न पहलुओं से जांच पड़ताल कर अपनी रिपोर्ट शासन को सौंपेगी। फिर इसके आधार पर वन्यजीव सुरक्षा समेत अन्य मामलों में प्रभावी कदम उठाए जाएंगे।

विश्व प्रसिद्ध कार्बेट टाइगर रिजर्व हो अथवा राजाजी टाइगर रिजर्व या फिर दूसरे संरक्षित व आरक्षित वन क्षेत्र, सभी जगह आए दिन वन्यजीवों की मौत सुर्खियां बनती आई है। इसमें शिकार के मामले भी हैं तो वन्यजीवों की स्वाभाविक मौत से लेकर आपसी संघर्ष के मामले भी। यही नहीं, प्रतिशोध की भावना से भी वन्यजीवों की हत्या की बात पूर्व में सामने आती रही है। बावजूद इसके, वन्यजीवों की मौत की वास्तविक वजह को लेकर अक्सर रहस्य बना रहता है। जाहिर है कि इसे लेकर सवाल भी उठते आए हैं।

इस रहस्य से पर्दा उठाने के मकसद से ही शासन ने उच्च स्तरीय जांच कमेटी गठित करने का निर्णय लिया। प्रमुख सचिव आनंदव‌र्द्धन के मुताबिक जांच कमेटी मुख्य वन्यजीव प्रतिपालक रंजना काला की अगुआई में गठित की गई है। कमेटी में एक अपर प्रमुख मुख्य वन संरक्षक के अलावा मुख्य वन संरक्षक गढ़वाल व कुमाऊं शामिल हैं।

उन्होंने बताया कि यह जांच कमेटी पिछले पांच सालों में राज्यभर में हुई वन्यजीवों की मौत के कारणों की पड़ताल करेगी। इससे यह पता चल सकेगा कि कहां-कहां और किस क्षेत्र में किस वजह से वन्यजीवों की मौत हुई है। साथ ही यह भी देखा जाएगा कि वन्यजीवों की सुरक्षा के मामले में विभागीय स्तर से किसी प्रकार की कोताही तो नहीं बरती जा रही। यह कमेटी एक माह के भीतर अपनी रिपोर्ट शासन को सौंपेगी।


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