उत्तराखंड में नर्सिंग भर्ती के मानकों में संशोधन करेगी सरकार, जानिए CM ने और क्या दिए निर्देश
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने नर्सिंग की भर्ती में मानकों में संशोधन के निर्देश दिए हैं। सीएम ने नर्सिंग प्रशिक्षित बेरोजगार युवाओं के ज्ञापन का संज्ञान लेकर सचिव स्वास्थ्य को निर्देश दिए कि आवश्यक संशोधन का प्रस्ताव तैयार कर जल्द आगामी कैबिनेट में लाया जाए।
जागरण संवाददाता, देहरादून। कोरोना संक्रमण से ठीक होकर मंगलवार को मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कामकाज की शुरुआत जन हित के दो महत्वपूर्ण फैसलों से की। मुख्यमंत्री ने प्रदेश में नर्सिंग स्टाफ की भर्ती के लिए तय मानकों में संशोधन के निर्देश दिए हैं। साथ में दिव्यांग कार्मिकों को तोहफा देते हुए उनके लिए सरकारी आवास आवंटन में आरक्षण को तीन से बढ़ाकर चार फीसद कर दिया। अब दिव्यांग कार्मिकों को ज्यादा संख्या में सरकारी आवास मिलेंगे।
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के कोरोना संक्रमित होने की जानकारी बीती 18 दिसंबर को मिली थी। हल्का बुखार होने पर उन्हें 28 दिसंबर को नई दिल्ली स्थित एम्स में भर्ती कराया गया था। दो दिन पहले मुख्यमंत्री को अस्पताल ने डिस्चार्ज कर दिया था। कोविड-19 रिपोर्ट निगेटिव आने और आइसोलेशन अवधि पूरा करने के बाद मंगलवार को नई दिल्ली स्थित आवास से कामकाज निपटाना प्रारंभ कर दिया। मुख्यमंत्री ने बेरोजगारों की मांग को प्रमुखता देते हुए नर्सिंग स्टाफ की भर्ती के मानक में संशोधन के निर्देश दिए। इस निर्णय के कारण अब इसके लिए विज्ञापित पदों की अधिसूचना भी वापस लेने की तैयारी है। मानकों में संशोधन के बाद इन पदों को नए सिरे से विज्ञापित किया जाएगा।
प्रदेश में इस समय नर्सिंग स्टाफ के 1200 से अधिक पदों पर भर्ती होनी है। इसके लिए कुछ मानक तय किए गए थे। इनमें अभ्यर्थी का 30 बेड के अस्पताल में एक वर्ष का अनुभव और आयकर के लिए मिलने वाला फार्म 16 भरने की अनिवार्यता रखी गई थी। इस मानक के चलते कई नर्सिंग प्रशिक्षित युवा इस भर्ती परीक्षा में भाग लेने के लिए पात्र नहीं हो पा रहे थे। नर्सिंग प्रशिक्षित बेरोजगार युवाओं ने कुछ समय पहले मानकों में ढील देने की मांग को लेकर मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को पत्र भेजा था। मंगलवार को मुख्यमंत्री ने सचिव स्वास्थ्य को इन मानकों में ढील देने के निर्देश दिए।
कैबिनेट में रखा जाएगा प्रस्ताव
सचिव स्वास्थ्य अमित नेगी ने बताया कि मुख्यमंत्री के निर्देश के अनुसार नर्सिंग भर्ती के लिए अस्पताल में अनुभव की शर्त को हटाया जाएगा। इस शर्त के हटने से फार्म 16 की शर्त भी स्वत: ही हट जाएगी। उन्होंने कहा कि इसके लिए प्रस्ताव तैयार कर कैबिनेट की आगामी बैठक में रखा जाएगा। कैबिनेट के निर्णय के बाद नर्सिंग प्रशिक्षित बेरोजगार इस भर्ती परीक्षा के लिए पात्र हो जाएंगे।
दिव्यांग कार्मिकों की समस्या का समाधान
वहीं दिव्यांग कार्मिकों सरकारी आवास पाने के लिए कड़ी मशक्कत करनी पड़ती थी। राज्य सरकार ने उनकी पीड़ा समाधान किया। मुख्यमंत्री के निर्देश पर समाज कल्याण विभाग ने सरकारी आवासों व भवनों के आवंटन में समस्त श्रेणी के दिव्यांग कार्मिकों के लिए निर्धारित तीन फीसद आरक्षण को बढ़ाकर चार फीसद कर दिया है। राज्य संपत्ति विभाग ने भी इस पर सहमति प्रदान कर दी। मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत का अनुमोदन मिलने के बाद सभी विभागों को आवास आवंटन के लिए जारी किए जाने वाले निर्देश का प्रारूप भी तैयार कर दिया गया है।
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