लॉकडाउन में लौटे युवक ने गांव में शुरु किया व्यवसाय, अब हर महीने कमाने लगे 60 से 70 हजार रुपये
कोरोना महामारी में नौकरी गंवाने के बाद कालसी ब्लाक की खत बमटाड़ के कोटी गांव के आनंद सिंह नेगी ने मुख्यमंत्री स्वरोगार योजना का लाभ लेकर गांव में ही अपना खुद का पोल्ट्री फार्म खोलकर अन्य युवाओं को भी स्वरोजगार की प्रेरणा दी है।
संवाद सूत्र, साहिया: कोरोना महामारी में नौकरी गंवाने के बाद कालसी ब्लाक की खत बमटाड़ के कोटी गांव के आनंद सिंह नेगी ने मुख्यमंत्री स्वरोगार योजना का लाभ लेकर गांव में ही अपना खुद का पोल्ट्री फार्म खोलकर अन्य युवाओं को भी स्वरोजगार की प्रेरणा दी है। कोरोना काल से पहले आनंद सिंह ने बिहार और इसके बाद पंजाब में पोल्ट्री फार्म में नौकरी की। बीते वर्ष मार्च में कोरोना संक्रमण फैलने की वजह से देशभर में लॉकडाउन लगने पर विभिन्न प्रदेशों से प्रवासी अपने घरों को वापस लौट आए।
धीरे धीरे अनलाक की प्रक्रिया शुरू हुई तो कुछ युवा रोजगार की तलाश में लौट गए, लेकिन कुछ युवाओं ने अपने पैतृक गांवों में ही स्वरोजगार तलाशा। स्वरोजगार करने में मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना सहारा बनी। खत बमटाड के कोटी गांव के युवा आनंद सिंह नेगी ने मुख्यमंत्री स्वरोगार योजना के तहत ग्रामीण बैंक से 4 लाख 50 हजार रुपये का ऋण लिया और अपने गांव कोटी के पास पोल्ट्री फार्म खोलकर लिया। पोल्ट्री फार्म से आनंद नेगी 60 से 70 हजार रुपये हर महीने कमाने लगे हैं। नेगी ने बताया कि उन्होंने 12वीं तक की पढ़ाई पूरी की।
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उसके बाद रोजगार की तलाश में पंजाब व बिहार में पोल्ट्री फार्म में नौकरी की, जिससे उसे पोल्ट्री फार्म का अच्छा अनुभव मिला। इसलिए पोल्ट्री फार्म को ही व्यवसाय के रूप में चुना। उन्होंने बताया कि खुद का व्यवसाय कर उन्हें ज्यादा खुशी मिल रही है और दूसरे पर निर्भरता भी समाप्त हो गई है।
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