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Sridev Suman University: श्रीदेव सुमन विवि में स्टाफ का टोटा, बढ़ा रहे कॉलेजों की संख्या

श्रीदेव सुमन विवि को सरकार स्थायी अधिकारी और कर्मचारी दे नहीं पा रही और विवि से और अधिक कॉलेजों को संबद्ध करने का आतुर है। श्रीदेव सुमन विवि में अभी तक 53 राजकीय महाविद्यालय और 115 निजी कॉलेज संबद्ध हैं।

By Raksha PanthriEdited By: Published: Sun, 24 Jan 2021 02:19 PM (IST)Updated: Sun, 24 Jan 2021 02:19 PM (IST)
Sridev Suman University: श्रीदेव सुमन विवि में स्टाफ का टोटा, बढ़ा रहे कॉलेजों की संख्या
उत्तराखंड श्रीदेव सुमन विवि में स्टाफ का टोटा बढ़ा रहे कॉलेजों की संख्या।

जागरण संवाददाता, देहरादून। उत्तराखंड श्रीदेव सुमन विवि को सरकार स्थायी अधिकारी और कर्मचारी दे नहीं पा रही और विवि से और अधिक कॉलेजों को संबद्ध करने का आतुर है। श्रीदेव सुमन विवि में अभी तक 53 राजकीय महाविद्यालय और 115 निजी कॉलेज संबद्ध हैं, जबकि यहां कुलपति और परीक्षा नियंत्रक सहित केवल दस अधिकारी-कर्मचारी स्थायी हैं। इसके अलावा संविदा ओर आउटसोर्स कर्मचारियों के सहारे विवि के प्रशासनिक कार्य संपन्न करवाई जा रहे हैं। 

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सेमेस्टर कक्षाओं की पढ़ाई, प्रयोगात्मक परीक्षाएं, लिखित परीक्षा, मूल्यांकन और परीक्षा परिणाम घोषित करते तक विवि को मैनपॉवर की जरूरत खटकती रहती है। विवि के दो परिसर ऋषिकेश व गोपेश्वर स्थित महाविद्यालय अलग हैं।

अब अगर सरकार की योजना परवान चढ़ी और प्रदेश के 18 अशासकीय महाविद्यालयों को श्रीदेव सुमन विवि से संबद्ध कर दिया गया, तो इस विवि में दो लाख से अधिक छात्र-छात्राएं अध्ययनरत होंगे। उत्तराखंड विवि में छात्रों की संख्या तो बढ़ेगी, लेकिन अधिकारी-कर्मचारी भी बढ़ेंगे इसकी कोई गारंटी नहीं है। अभी तक विवि समय पर परीक्षा और मूल्यांकन करने में भी सफल नहीं हुआ है। परीक्षा में आने वाले प्रश्नपत्रों में कई प्रकार की गड़बड़ियां सामने आई थी। आगे विवि प्रशासन की और मुश्किलें बढ़ने वाली हैं।

सहायता प्राप्त अशासकीय महाविद्यालयों में दून के डीएवी, डीबीएस, एमकेपी और एसजीआरआर पीजी कॉलेज भी शामिल हैं। इन चारों कालेजों को लेकर अभी तक हेमवती नंदन बहुगुणा गढ़वाल विवि प्रशासन परेशान रहता रहा है। अब श्रीदेव सुमन विवि प्रशासन को इन छात्रों का सामना करना पड़ेगा। श्रीदेव सुमन विवि के कुलपति डॉ.पीपी ध्यानी ने स्वीकार किया कि विवि में स्टाफ का टोटा है।

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