Move to Jagran APP

सत्ता के गलियारे से : खामोश, नेताजी तो पार्टी के संकटमोचक हैं

भाजपा विधायक उमेश शर्मा काऊ यशपाल आर्य के साथ नई दिल्ली में कांग्रेस मुख्यालय पहुंचे पर एन वक्त पर वहां से चुपचाप निकल गए ने दावा किया कि वह भाजपा के लिए संकटमोचक की भूमिका निभा रहे थे।

By Sunil NegiEdited By: Published: Mon, 18 Oct 2021 08:22 AM (IST)Updated: Mon, 18 Oct 2021 08:22 AM (IST)
सत्ता के गलियारे से : खामोश, नेताजी तो पार्टी के संकटमोचक हैं
देहरादून के रायपुर क्षेत्र से भाजपा विधायक उमेश शर्मा काऊ। फाइल फोटो

विकास धूलिया, देहरादून। सियासी बिसात पर एक-दूसरे को शह-मात देने के लिए तमाम हथकंडे आजमाए जाते हैं, मगर उत्तराखंड की सियासत में ऐसा कुछ हुआ, जैसा शायद अब तक नहीं हुआ था। गुजरे हफ्ते भाजपा सरकार में कैबिनेट मंत्री रहे यशपाल आर्य दिल्ली में कांग्रेस में वापस लौट गए। वह पांच साल पहले कांग्रेस से भाजपा में आए थे। इस दौरान विधायक उमेश शर्मा काऊ भी देहरादून से दिल्ली पहुंचे। पार्टी में शामिल होने से पहले आर्य, राहुल गांधी से मुलाकात करने गए। काऊ साथ थे, मगर फिर कांग्रेस मुख्यालय पहुंचकर विधायक काऊ गायब हो गए। कुछ देर बाद उनकी तस्वीर भाजपा नेताओं के साथ इंटरनेट मीडिया में वायरल हो गई। लौटकर काऊ ने जो राज खोला, वह सच में चौंकाने वाला था। उनका कहना था कि भाजपा के संकटमोचक बनकर वह आलाकमान के कहने पर आर्य को रोकने की कोशिश कर रहे थे, कांग्रेस में लौटने की उनकी कोई योजना नहीं थी।

loksabha election banner

मंत्री की तस्वीर पर बदल दिया संदेश

हाल ही में कैबिनेट मंत्री रेखा आर्य की एक तस्वीर इंटरनेट मीडिया में वायरल हुई। दरअसल, भाजपा इन दिनों दीवार लेखन अभियान का आयोजन कर रही है। भाजपा कार्यकत्र्ता इसके तहत पार्टी की रीति-नीति और चुनावी तैयारी को लेकर दीवार पर पार्टी के पक्ष में प्रचार कर रहे हैं। मंत्री रेखा आर्य ने भी इसी कड़ी में दीवार पर कमल का फूल बनाकर उस पर संदेश लिखते हुए अपनी एक तस्वीर क्लिक करवाई। इस पर संदेश लिखा था, अबकी बार 60 पार। कुछ ही वक्त बीता था कि रेखा आर्य की तस्वीर के साथ अंकित संदेश को बदल कर इंटरनेट मीडिया में वायरल कर दिया गया। किसी ने शरारत कर इसके साथ जोड़ दिया, हमारी भूल, कमल का फूल। साफ तौर पर यह काम विरोधियों का ही होगा। नतीजतन मंत्रीजी को स्थिति स्पष्ट करने के लिए मैदान में उतरना पड़ा। उन्होंने इसे तुच्छ और निम्न स्तर की राजनीति करार दिया।

तो चुनावी कक्षा के मानीटर बनेंगे हरक

बचपन याद है न, अकसर टीचर उस बच्चे को कक्षा का मानीटर बना देते थे, जो सबसे ज्यादा शरारती होता, दूसरे बच्चों की शिकायतें करता रहता। जब उस पर सब बच्चों को काबू करने की जिम्मेदारी आ जाती, तो बाकी हरकतों के लिए वक्त ही नहीं बचता। सत्ता के गलियारों में चर्चा है कि ऐसा ही फार्मूला सत्तारूढ़ भाजपा आजमाने की सोच रही है। विधानसभा चुनाव नजदीक हैं, तो मंत्री-विधायकों की तनातनी भी बढ़ रही है। किसी विधायक को लग रहा है कि उसका टिकट कट रहा है, तो मंत्रीजी को सत्ता में आने पर मंत्री की कुर्सी खिसकने का अंदेशा है। इसके अलावा भी तमाम कारण हैं, जिनका भय दिखाकर पालाबदल जैसी अनकही धमकियां दी जा रही हैं। अब चर्चा है कि भाजपा कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत को चुनाव के वक्त अहम जिम्मेदारी दे सकती है। यानी, भाजपा की चुनावी कक्षा के मानीटर बनाए जा सकते हैं हरक।

चलेगा या बैकफायर करेगा अनुसूचित जाति कार्ड

कांग्रेस के महासचिव एवं पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने पंजाब के बाद उत्तराखंड में भी अनुसूचित जाति के व्यक्ति को मुख्यमंत्री बनते देखने की मंशा जाहिर की। दरअसल, रावत कांग्रेस के पंजाब प्रभारी के साथ ही उत्तराखंड में विधानसभा चुनाव अभियान समिति के मुखिया की भूमिका भी निभा रहे हैं। संयोग कहें या सुनियोजित तैयारी, कुछ ही दिन बाद कांग्रेस सूबे की सियासत के अनुसूचित जाति के एक बड़े चेहरे यशपाल आर्य की पार्टी में वापसी कराने में सफल हो गई। इस घटनाक्रम के बाद कांग्रेस में ही इस मसले पर बहस चलने लगी। रावत को नजदीक से जानने वालों का कहना है कि अनुसूचित जाति के मुख्यमंत्री की मंशा के मूल में आर्य नहीं, राज्यसभा सदस्य प्रदीप टम्टा का चेहरा है। उधर, कांग्रेस के कई नेता कसमसा से रहे हैं। उन्हें डर सता रहा है कि कहीं उत्तराखंड में यह कार्ड फायदा पहुंचाने के बजाय बैकफायर न कर जाए।

यह भी पढ़ें:- Uttarakhand Politics: महंगाई के विरोध में कांग्रेस कार्यकर्त्‍ताओं ने किया प्रदर्शन, बोले- आमजन के घर का बिगड़ रहा बजट


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.