डॉक्टरों की सेवा समाप्ति को आयोग से मांगी अनुमति
प्रदेश के विभिन्न अस्पतालों से गायब चल रहे 54 से अधिक डॉक्टरों की सेवा समाप्त करने के लिए शासन ने लोक सेवा आयोग से अनुमति मांगी है।
राज्य ब्यूरो, देहरादून: प्रदेश के विभिन्न अस्पतालों से गायब चल रहे 54 से अधिक डॉक्टरों की सेवा समाप्त करने के लिए शासन ने लोक सेवा आयोग से अनुमति मांगी है। इन डॉक्टरों का चयन आयोग के जरिये ही किया गया था। ऐसे में किसी भी कानूनी झंझट से बचने के लिए शासन ने आयोग से अनुमति मांगी है। अब आयोग से अनुमति मिलने का इंतजार किया जा रहा है।
उत्तराखंड में लंबे समय से स्वास्थ्य सेवाएं पटरी से उतरी हुई हैं। इसका मुख्य कारण प्रदेश में डॉक्टरों की संख्या कम होना है। हाल ही में सरकार ने स्वास्थ्य विभाग के ढांचे को आइपीएचएस के मानकों के अनुसार बनाया है। इसमें अस्पतालों की संख्या 733 तक सीमित की गई है। इसके साथ ही इसके कार्मिक ढांचे में भी बदलाव किया गया है। अब चिकित्सकों के कुल 2604 पद रखे गए हैं। पहले इनकी संख्या 2735 थी। ऐसे में शासन ने कुछ समय पहले सभी डॉक्टरों की सूची तलब की थी। पता चला कि पौड़ी व रुद्रप्रयाग में तैनात किए गए 54 डॉक्टर अनुपस्थित चल रहे हैं। स्वास्थ्य निदेशालय ने इनकी सूची बनाकर शासन को सौंपी। शासन ने इस सूची का परीक्षण करने के बाद इन सबकी सेवाएं समाप्त करने का निर्णय तो लिया लेकिन इससे पहले उन्होंने इसके लिए आयोग की अनुमति मांगी है। आयोग को इन डॉक्टरों का पूरा ब्योरा भेज दिया गया है। अब उम्मीद जताई जा रही है कि जल्द ही आयोग से अनुमति मिल जाएगी।