Move to Jagran APP

मादा गुलदार और शावकों का नहीं चला पता, पिछले तीन दिनों से टीम कर रही ट्रेस करने की कोशिश

गुलजार फार्म में दो शावकों के साथ नजर आ रही मादा गुलदार को ट्रेस करने के लिए वन विभाग की टीम पिछले तीन दिनों से क्षेत्र में अभियान चलाए हुए है। फिलहाल अभी तक वन विभाग की टीम को गुलदार व शावकों का कोई ठिकाना नहीं मिल पाया है।

By Raksha PanthriEdited By: Published: Sat, 24 Apr 2021 04:03 PM (IST)Updated: Sat, 24 Apr 2021 04:03 PM (IST)
मादा गुलदार और शावकों का नहीं चला पता, पिछले तीन दिनों से टीम कर रही ट्रेस करने की कोशिश
मादा गुलदार और शावकों का नहीं चला पता।

जागरण संवाददाता, ऋषिकेश। ग्रामसभा खड़क माफ के गुलजार फार्म में दो शावकों के साथ नजर आ रही मादा गुलदार को ट्रेस करने के लिए वन विभाग की टीम पिछले तीन दिनों से क्षेत्र में अभियान चलाए हुए है। फिलहाल, अभी तक वन विभाग की टीम को गुलदार व शावकों का कोई ठिकाना नहीं मिल पाया है। 

loksabha election banner

ग्रामसभा खदरी-खड़कमाफ के गुलजार फार्म में चार दिन पूर्व एक मादा गुलदार अपने दो शावकों के साथ ग्रामीणों को नजर आई थी। इससे ग्रामीणों की चिंता और भी बढ़ गई। ग्रामीणों ने वन विभाग से गुलदार को पकड़ने की मांग की थी। जिस पर पिछले तीन दिन से वन विभाग की टीम गुलजार फार्म क्षेत्र में गुलदार को ट्रेस करने के लिए अभियान चलाए हुए है। शुक्रवार को भी वन विभाग के विशेषज्ञों की टीम ने यहां गन्ने के खेतों में गुलदार के पगमार्क तलाश किए। मौसम खराब होने के कारण टीम को दिक्कतों का सामना करना पड़ा। 

शुक्रवार को सर्च ऑपरेशन के के तहत सशस्त्र सुरक्षा घेरा बनाकर गन्ने की फसल काटने का कार्य किया गया। लेकिन जब कुछ हासिल नहीं हुआ तो मौके पर गन्ने के खेत में जेसीबी मशीन चलवाकर सघन खोज अभियान चलाया गया। टीम में शामिल वन्यजीव चिकित्सक डॉ. राकेश नौटियाल ने कहा कि खुले स्थान में  गुलदार को ट्रेंकुलाइज करना खतरनाक हो सकता है। ऐसे में यदि गुलदार दिख भी जाती हैं तो उसको बेहोश करना स्थानीय लोग की सुरक्षा के मद्देनजर जोखिमपूर्ण होगा। फिलहाल, अभी तक वन विभाग के इस सघन खोज अभियान में मादा गुलदार का कहीं भी पता नहीं चला। ग्राम प्रधान संगीता थपलियाल ने नागरिकों से अकेले बाहर न निकलने की अपील की है। घरों के बाहर लाइट जलाकर रखने, शादी और अन्य आयोजनों में बच्चों को अकेले ने भेजने की अपील की है। वहीं स्थानीय निवासी विनोद जुगलान ने वन विभाग से सर्च अभियान जारी रखने और क्षेत्र में गश्त बढ़ाने की मांग की। इस दौरान वन क्षेत्राधिकारी ऋषिकेश एमएस रावत, डॉ. अभिषेक अग्निहोत्री, त्रिकांश शर्मा, सागर ठाकुर, श्रीकांत, शांति प्रसाद थपलियाल आदि मौजूद रहे।

यह भी पढ़ें- Uttrakhand Forest Fire: उत्तराखंड में जंगल की आग से वन्यजीवों पर मंडराया संकट, द‍िनदहाड़े आबादी क्षेत्र में पहुंचा गुलदार

Uttarakhand Flood Disaster: चमोली हादसे से संबंधित सभी सामग्री पढ़ने के लिए क्लिक करें


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.