Move to Jagran APP

शिक्षा विभाग में प्रधानाचार्य के पदों पर भी पदोन्नति की कवायद शुरू, पढ़िए पूरी खबर

कई स्कूलों को जल्द ही नियमित प्रधानाचार्य मिल सकते हैं। एलटी शिक्षकों के बाद शिक्षा विभाग में प्रधानाचार्य के पदों पर भी पदोन्नति के लिए भी कवायद शुरू हो गई है।

By Raksha PanthariEdited By: Published: Wed, 27 May 2020 06:22 PM (IST)Updated: Wed, 27 May 2020 06:22 PM (IST)
शिक्षा विभाग में प्रधानाचार्य के पदों पर भी पदोन्नति की कवायद शुरू, पढ़िए पूरी खबर
शिक्षा विभाग में प्रधानाचार्य के पदों पर भी पदोन्नति की कवायद शुरू, पढ़िए पूरी खबर

देहरादून, जेएनएन। प्रदेश के कई स्कूलों को जल्द ही नियमित प्रधानाचार्य मिल सकते हैं। एलटी शिक्षकों के बाद शिक्षा विभाग में प्रधानाचार्य के पदों पर भी पदोन्नति के लिए भी कवायद शुरू हो गई है। शिक्षा निदेशालय की ओर से शासन को 50 शिक्षकों की सूची डीपीसी के लिए भेजी गई है।

loksabha election banner

शिक्षा निदेशक आरके कुंवर ने बताया कि प्रदेशभर से प्रधानाचार्य और प्रधानाध्यापक को पदों पर पदोन्नति के लिए 50 शिक्षकों की गोपनीय आख्या शासन को भेजी गई है। शासन से डीपीसी होने के बाद इन पदों पर जल्द पदोन्नति की जाएगी। उन्होंने बताया कि फिलहाल रिक्त पड़े प्रधानाचार्य और प्रधानाध्यापक पदों पर भर्ती की कार्रवाई स्थगित है। राजकीय इंटर कॉलेजों मे प्रधानाचार्यों के 1387 पदों के सापेक्ष 1007 पद रिक्त चल रहे हैं। पुरुष संवर्ग में तो स्थिति और भी खराब है। स्वीकृत 1247 पदों मे से 936 पद खाली है। बता दें कि शिक्षा विभाग ने पूर्व में खाली पदों पर तदर्थ पदोन्नति का प्रस्ताव शासन को भेजा था। लेकिन, इसपर कोई कार्यवाही अभी नहीं हुई है।

मतगणना ड्यूटी करने वाले शिक्षकों को उपार्जति अवकाश

अगले साल 2021 में देशभर में जनगणना होनी है। इसके लिए सरकार की ओर से तैयारियां शुरू कर दी गई हैं। जनगणना में शिक्षकों की बड़ी भूमिका होती है। अपर निदेशक माध्यमिक शिक्षा रामकृष्ण उनियाल ने बताया कि प्रथम चरण में मकानों का सूचीकरण, मकानों की गणना समेत अन्य फील्ड वर्क करने पर शिक्षकों को उपार्जति अवकाश दिए जाएंगे। अपर निदेशक ने मंगलवार को इसके लिए आधिकारिक पत्र जारी किया।

यह भी पढ़ें: उत्तराखंड में प्रधानाचार्यों का पांच दिनी ऑनलाइन प्रशिक्षण शुरू, इन बिंदुओं पर होगा फोकस

प्रधानाचार्य ने शिक्षा विभाग से की निजी स्कूल की शिकायत

शीशमबाड़ा स्थित एक निजी स्कूल में प्रधानाचार्य के पद पर तैनात एक व्यक्ति ने मुख्य शिक्षा अधिकारी से स्कूल की शिकायत की है। मुख्य शिक्षा अधिकारी आशारानी पैन्युली ने बताया कि फोन से संपर्क कर एक व्यक्ति ने निजी स्कूल द्वारा उन्हें नौकरी से निकाले जाने की शिकायत की है। उनका कहना है कि लॉकडाउन के चलते वह ड्यूटी ज्वाइन नहीं कर सके, इसलिए उन्हें स्कूल से निकाल दिया गया। मुख्य शिक्षा अधिकारी ने व्यक्ति से स्कूल का नाम के साथ लिखित शिकायत मांगी है।

यह भी पढ़ें; ऑनलाइन परीक्षा के लिए तलाशने होंगे प्रौद्योगिकी के नए विकल्प, पढ़िए


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.