अब अंतरराष्ट्रीय स्तर पर किया जाएगा दून के प्रदूषण को कम, जानिए कैसे
राजधानी देहरादून में प्रदूषण को कम करने में अब क्लीन एयर एशिया नामक अंतरराष्ट्रीय एनजीओ मदद करेगा।
देहरादून, [राज्य ब्यूरो]: राजधानी देहरादून में प्रदूषण कम करने को क्लीन एयर एशिया नामक अंतरराष्ट्रीय नजीओ सहयोग करेगा। क्लीन एयर एशिया ने इसका चयन कर लिया है। इसके तहत प्रदूषण की रियल टाइम मॉनिटरिंग की जाएगी। वहीं, राजधानी के बढ़ते प्रदूषण से चिंतित शासन ने भी प्रदूषण कम करने के लिए कारगर रणनीति बनाने का निर्णय लिया है। इसके लिए पर्यावरण संरक्षण एवं प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को नोडल विभाग बनाया गया है।
मंगलवार को सचिवालय में मुख्य सचिव उत्पल कुमार सिंह की अध्यक्षता में राजधानी देहरादून में बढ़ते प्रदूषण पर नियंत्रण पाने के संबंध में बैठक हुई। बैठक में प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के सदस्य एसपी सुबुद्धि ने बताया कि अब पार्टिकुलेट मैटर (पीएम), सल्फर ऑक्साइड व नाइट्रोजन ऑक्साइड के आधार पर प्रदूषण की मॉनिटरिंग की जा रही है। घंटाघर, रायपुर, हिमालयन ड्रग और आइएसबीटी पर स्टेशन बनाए गए हैं।
यह बात सामने आई है कि वाहनों से निकलने वाले उत्सर्जन, निर्माण की गतिविधियों, खुले में कूड़ा जलाना व सड़क की धूल के कारण प्रदूषण होता है। इनको दूर करने के लिए पुरानी गाड़ियों को चरणबद्ध रूप से हटाने के लिए तंत्र विकसित करना होगा। ई-रिक्शा, ई-कार, ई-बस व ई-बाइक को बढ़ावा देना होगा। भीड़ वाले इलाकों में वाहनों का प्रवेश रोकना होगा। खुले में कचरा जलाने व रात में सफाई की भी व्यवस्था करनी होगी।
उन्होंने कहा कि प्रदूषण कम करने के लिए क्लीन एयर एशिया ने देहरादून का भी चयन किया है। उनकी मदद से बेहतर रणनीति बनाई जा सकती है। सचिव परिवहन डी सेंथिल पांडियन ने बताया कि दिसंबर तक राजधानी में सीएनजी की पाइपलाइन आ जाएगी, इसके बाद सीएनजी से चलने वाले वाहनों को बढ़ावा दिया जाएगा। विद्युत बैटरी व सोलर पावर से चलने वाले वाहनों को कर से छूट दी गई है। देहरादून में 26 प्रदूषण जांच केंद्र बनाए गए हैं। मुख्य सचिव ने सभी अधिकारियों को प्रदूषण कम करने के लिए यथासंभव कदम उठाने के निर्देश दिए। बैठक में सचिव शहरी विकास आरके सुधांशु, सचिव वन अरविंद सिंह ह्यांकि सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।
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