Coronavirus Vaccination in Uttarakhand: खुद के आत्मविश्वास से बढ़ाया औरों का भी विश्वास
Coronavirus Vaccination in Uttarakhand कोरोना के खिलाफ जंग अब मुकाम की ओर बढ़ रही है। टीकाकरण के रूप में इस जानलेवा वायरस पर अंतिम प्रहार की शुरुआत हो गई है। ऐसे में इस अभियान का हिस्सा बनना ही उत्सुकता का विषय था।
जागरण संवाददाता, देहरादून। कोरोना के खिलाफ जंग अब मुकाम की ओर बढ़ रही है। टीकाकरण के रूप में इस जानलेवा वायरस पर अंतिम प्रहार की शुरुआत हो गई है। ऐसे में इस अभियान का हिस्सा बनना ही उत्सुकता का विषय था। किसी भी तरह के शक-सुबह से दूर एक भरोसे का भाव दिख रहा था। कुछ स्वास्थ्य कर्मी ऐसे भी थे, जिन्होंने पहला टीका लगवाकर औरों को भी आत्मविश्वास दिया। टीका लगने के बाद इन योद्धाओं ने कहा कि इससे किसी तरह की कोई दिक्कत नहीं हुई और अब कोरोना का भय भी खत्म हो गया है। स्वदेशी वैक्सीन सबसे ज्यादा कारगर और सुरक्षित है। हमने मिलकर कोरोना को हराने की दिशा में एक कदम और बढ़ा दिया है।
टीका लगने के बाद मिली नई ऊर्जा : शैलेंद्र
उत्तराखंड में पहला टीका दून मेडिकल कॉलेज चिकित्सालय के वार्ड ब्वॉय शैलेंद्र द्विवेदी को लगाया गया। वह अस्पताल के रिकॉर्ड रूम में ड्यूटी करते हैं। टीका लगने के बाद उनके चेहरे पर खुशी के भाव दिखे। मीडिया से बात करते उन्होंने कहा कि पिछले दस माह से कोरोना के खिलाफ चल रही जंग अब अपने मुकाम की ओर है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा दिया गया 'देश जीतेगा-कोरोना हारेगा' का नारा अब चरितार्थ होता दिखा रहा है। उन्होंने बताया कि कोविड वैक्सीन भी सामान्य टीके की तरह है। वैसा ही ठीक किसी बच्चे को सुई लगने जैसा। टीका लगने के बाद स्वास्थ्य पर इसके प्रभाव पर पूछे जाने पर शैलेंद्र ने बताया कि अब पहले से भी ऊर्जावान महसूस कर रहा हूं। टीका लगने से एक नई ऊर्जा मिली है और कोरोना के खिलाफ अब और अधिक शक्ति के साथ काम करूंगा।
वैक्सीन पूरी तरह सुरक्षित: डॉ. अनुराग
कोविड-19 का दूसरा टीका कोरोना के नोडल अधिकारी तथा दून मेडिकल कॉलेज अस्पताल के छाती एवं श्वास रोग विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. अनुराग अग्रवाल को लगा। डॉ. अग्रवाल पिछले दस माह से कोरोना के खिलाफ छिड़ी जंग में पूरी शिद्दत से डटे हुए हैं। टीका लगने के बाद उन्होंने बताया कि टीकाकरण अभियान की शुरुआत होने से अब उम्मीद की किरण दिख रही है। उन्होंने कहा कि वैक्सीन को लेकर किसी तरह का भय या भ्रम न रखें। क्योंकि यह टीका पूरी तरह सुरक्षित है। उन्होंने बताया कि मैं डायबिटिक हूं। पर तमाम चिंताओं से मुक्त होकर टीका लगवाया है और पूरी तरह स्वस्थ महसूस कर रहा हूं।
वैक्सीन पर भरोसा करें : मंगला
श्री महंत इंदिरेश अस्पताल में पहला टीका वार्ड आया मंगला देवी को लगाया गया। मंगला न्यूरो विभाग में आया हैं। कोरोनाकाल में उन्होंने कोरोना वार्ड में पूरी मुस्तैदी से काम किया। कोरोना की वैक्सीन लगवाने को लेकर मंगला देवी बेहद उत्साहित थीं। इतना कि उन्होंने अस्पताल में बने बूथ में सबसे पहले पहुंचकर टीका लगवाया। मंगला बताती हैं, कि टीका लगने से पहले वो थोड़ा घबरा रही थीं, लेकिन टीका लगने के बाद उन्हें कोई दिक्कत नहीं हुई। मंगला ने कहा कि सबसे पहले टीका लगवाना उनके लिए गौरवशाली क्षण है। उन्होंने दूसरे लोग को भी डरने की बजाय खुद पर एवं देश की वैक्सीन पर भरोसा करने का संदेश दिया।