Move to Jagran APP

कोरोनाकाल में अभिभावकों की मदद को आगे आया शिक्षा विभाग

शिक्षा विभाग जरूरतमंद छात्र और अभिभावकों के लिए विशेष अभियान चलाएगा। विभाग ऐसे छात्र एवं अभिभावकों को चिन्हित करेगा जो कोरोना से प्रभावित हैं एवं जिनके पास राशन कार्ड भी नहीं। मुख्य शिक्षा अधिकारी आशारानी पैन्यूली ने जिले भर में यह अभियान चलाना तय किया है।

By Sumit KumarEdited By: Published: Sun, 06 Jun 2021 04:05 PM (IST)Updated: Sun, 06 Jun 2021 04:05 PM (IST)
कोरोनाकाल में अभिभावकों की मदद को आगे आया शिक्षा विभाग
मुख्य शिक्षा अधिकारी आशारानी पैन्यूली ने जिले भर में यह अभियान चलाना तय किया है।

जागरण संवाददाता, देहरादून। शिक्षा विभाग जरूरतमंद छात्र और अभिभावकों के लिए विशेष अभियान चलाएगा। विभाग ऐसे छात्र एवं अभिभावकों को चिन्हित करेगा जो कोरोना से प्रभावित हैं एवं जिनके पास राशन कार्ड भी नहीं। मुख्य शिक्षा अधिकारी आशारानी पैन्यूली ने जिले भर में यह अभियान चलाना तय किया है। उन्होंने ब्लॉक स्तर पर अधिकारियों को ऐसे अभिभावकों को चिह्नित करने के निर्देश दिए हैं।

loksabha election banner

मुख्य शिक्षा अधिकारी आशारानी पैन्यूली ने कहा कि जिले के सरकारी स्कूलों में बिहार, छत्तीसगढ़ समेत अन्य बाहरी राज्यों से आए मजदूर वर्ग के बच्चे बड़ी संख्या में पढ़ते हैं। इनमें से कई बच्चों के अभिभावक ऐसे भी हैं, जिनके पास अपने घर जाने तक के लिए पैसे नहीं हैं। कोरोना कर्फ्यू के चलते उनकी दिहाड़ी- मजदूरी भी बंद है। ऐसे में उनके सामने परिवार को पालने तक का संकट पैदा हो गया है। ऐसे बच्चों को चिन्हित कर शिक्षा विभाग ने अपने स्तर से राशन वितरण करने का फैसला लिया है। इस नेक कार्य के लिए जिले में तैनात सभी शिक्षकों एवं विभाग के कर्मचारियों को सहयोग करने को कहा गया है। जिसमें स्वेच्छा से कई शिक्षक एवं कर्मचारी आर्थिक मदद दे रहे हैं जिससे राशन किट खरीदी जा सके। मुख्य शिक्षा अधिकारी ने सभी ब्लॉक में कर्मचारियों एवं शिक्षकों को ऐसे छात्र एवं अभिभावकों को चिह्नित कर राशन वितरण करने के निर्देश दिए हैं। बताया कि पांच जून को पर्यावरण दिवस के मौके पर अब तक चिह्नित लोग को ब्लॉक स्तर से राशन वितरित किया जाएगा। बताया कि अभियान आगे भी जारी रहेगा।

यह भी पढ़ें- Indian Military Academy: भारतीय सैन्य अकादमी की मुख्यधारा में शामिल हुए 29 कैडेट

गोल्डन कार्ड योजना जारी रखने की मांग

अनुसूचित जाति जनजाति शिक्षक एसोसिएशन उत्तराखंड ने गोल्डन कार्ड योजना को जारी रखने की मांग की है। एसोसिएशन ने मुख्यमंत्री, विद्यालयी शिक्षा मंत्री, सचिव स्वास्थ्य विभाग एवं निदेशक राज्य स्वास्थ्य प्राधिकरण को पत्र लिखकर योजना जारी रखने की मांग की। एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष संजय भाटिया एवं महामंत्री जितेंद्र सिंह बुटोइया ने कहा कि गोल्डन कार्ड को मानव कल्याण की दृष्टि से लागू रखने के सभी प्रावधान किए जाएं। इसमें भविष्य में होने वाली कोई भी महामारी अथवा बीमारी को इलाज करवाने के लिए पूर्व से ही यह प्रावधान अधिनियम में किया जाए। साथ ही एक ऐसा सशक्त एक्ट पारित किया जाए जिससे कोई भी हॉस्पिटल किसी भी मरीज को सुविधा ना देने पर दंड का प्रावधान किया जाना चाहिए।

यह भी पढ़ें- आज से दिल्ली दौरे पर मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत, इस दौरे को माना जा रहा अहम

Uttarakhand Flood Disaster: चमोली हादसे से संबंधित सभी सामग्री पढ़ने के लिए क्लिक करें


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.